आलू भी हो गया महंगा
गर्मी की वजह से हरी सब्जियों की कीमत आसमान में पहुंच गई है। ऐसे में आलू की खपत बढ़ गई है। साधारण आलू की कीमत 35 से 40 रुपए किलो तक पहुंच गई है। आप यदि चिप्सोना या पहाड़ी आलू ढूढेंगे तो वह 45 से 50 रुपए किलो मिल रहा है।
गर्मी की वजह से हरी सब्जियों की कीमत आसमान में पहुंच गई है। ऐसे में आलू की खपत बढ़ गई है। साधारण आलू की कीमत 35 से 40 रुपए किलो तक पहुंच गई है। आप यदि चिप्सोना या पहाड़ी आलू ढूढेंगे तो वह 45 से 50 रुपए किलो मिल रहा है।
क्यों बढ़ी प्याज की कीमत?
सोमवार को ही ईद-अल-अजा (बकरा ईद) है। इस त्योहार के दौरान देश भर में प्याज की मांग बढ़ जाती है। इसे देखते हुए व्यापारी पहले ही स्टॉक करना शुरू कर देते हैं। इसके कारण ही प्याज महंगी हो गई है। नासिक मंडी थोक भाव में 17 रुपए बिक रही प्याज 30 रुपए प्रति किलो हो गई है। रवी की फसल खराब हुई है। ऐसे में प्याज अभी और महंगी होगी। इसके साथ ही बड़ी मात्रा में बांग्लादेश ने प्याज की मांग बढ़ा दी है।
सोमवार को ही ईद-अल-अजा (बकरा ईद) है। इस त्योहार के दौरान देश भर में प्याज की मांग बढ़ जाती है। इसे देखते हुए व्यापारी पहले ही स्टॉक करना शुरू कर देते हैं। इसके कारण ही प्याज महंगी हो गई है। नासिक मंडी थोक भाव में 17 रुपए बिक रही प्याज 30 रुपए प्रति किलो हो गई है। रवी की फसल खराब हुई है। ऐसे में प्याज अभी और महंगी होगी। इसके साथ ही बड़ी मात्रा में बांग्लादेश ने प्याज की मांग बढ़ा दी है।
प्याज का निर्यात भी खुल गया
सरकार ने आम चुनाव के बीच ही प्याज का निर्यात खोल दिया। निर्यात पर 40% का निर्यात शुल्क है। इस वजह से निर्यात की रफ्तार धीमी है। 17 जून को आगामी ईद-अल-अधा के लिए प्याज की घरेलू मांग मजबूत है। इस समय महाराष्ट्र समेत पश्चिम भारत, दक्षिण भारत और पूर्वी भारत से प्याज की भारी मांग निकल रही है। इसके साथ ही बंगलादेश में भी प्याज का कंसाइनमेंट जा रहा है।
सरकार ने आम चुनाव के बीच ही प्याज का निर्यात खोल दिया। निर्यात पर 40% का निर्यात शुल्क है। इस वजह से निर्यात की रफ्तार धीमी है। 17 जून को आगामी ईद-अल-अधा के लिए प्याज की घरेलू मांग मजबूत है। इस समय महाराष्ट्र समेत पश्चिम भारत, दक्षिण भारत और पूर्वी भारत से प्याज की भारी मांग निकल रही है। इसके साथ ही बंगलादेश में भी प्याज का कंसाइनमेंट जा रहा है।