तीन महिलाओं को बनाया महासचिव
दरअसल, लोकसभा चुनाव की तैयारी जुटी पार्टी अपने संगठन को चुस्त-दुरुस्त कर रही है। फेरबदल के दौरान पार्टी नए प्रयोग से बचने के लिए उदयपुर नवसंकल्प जैसी बातों को किनारे करती दिख रही है। हालांकि पार्टी ने 12 महासचिवों में से तीन महिलाओं को महासचिव बनाया है। इसके अलावा उत्तर व दक्षिण को लेकर चल रही विसंगति को दूर कर 7 महासचिव उत्तर भारत के हिंदी पट्टी राज्यों से लिए गए हैं।
-पायलट: आखिर राष्ट्रीय राजनीति में कदम
करीब पांच साल तक राजस्थान में अशोक गहलोत और पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट के बीच चले मतभेद के बाद आखिरकार पायलट के राष्ट्रीय सियासत में कदम बढ़ गए हैं। हालांकि वे स्टार प्रचारक के तौर पर कई राज्यों में प्रचार कर चुके हैं, लेकिन औपचारिक रूप से छत्तीसगढ़ राज्य की जिम्मेदारी अब मिली है। उनके सामने छत्तीसगढ़ की गुटबाजी समाप्त कर लोकसभा चुनाव 2024 में जीत दिलाने की चुनौती है।
-प्रियंका: बिना प्रभार के महासचिव, छिपा संदेश
प्रियंका गांधी को महासचिव रखते हुए कोई जिम्मेदारी नहीं देन के पीछे संदेश छिपा है कि पार्टी, संगठन के फैसलों व प्रचार के लिए उनका उपयोग एक राज्य तक सीमित करने की बजाय देशभर में करना चाहती है। पार्टी उनको उत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव भी लड़ा सकती है।
-जितेन्द्र सिंह: भरोसा बरकरार
राजस्थान के जितेन्द्र सिंह पर पार्टी का भरोसा बरकरार है। उन्हें असम का प्रभारी महासचिव बनाए रखा है। साथ में मध्यप्रदेश का अतिरिक्त प्रभार दिया गया है।
-अविनाश पांडे का फिर कद बढ़ा
महाराष्ट्र के अविनाश पांडे संगठन के अनुभवी नेताओं में शुमार है। उनके प्रभारी रहते हुए राजस्थान में कांग्रेस ने सत्ता में वापसी की। उन्हें झारखंड के प्रभारी के बजाय अब महासचिव के रूप में प्रियंका की जगह उत्तर प्रदेश भेजा गया है।
-दीपा दासमुंशी-महिला चेहरा
दीपा दासमुंशी को केरल-लक्ष्द्वीप के साथ तेलंगाना का अतिरिक्त प्रभारी महासचिव बनाया है। दासमुंशी पार्टी का नया महिला चेहरा बनकर उभर सकती है।
-गुलाम मीर व नासिर हुसैन: नए मुस्लिम चेहरे
जम्मू कश्मीर के गुलाम अहमद मीर को महासचिव बनाकर झारखंड के साथ पश्चिम बंगाल का अतिरिक्त प्रभार सौंपा है। वहीं कर्नाटक के राज्यसभा सांसद नासिर हुसैन को कांग्रेस अध्यक्ष का कार्यालय प्रभारी बनाया गया है। यह दोनों नेता आने वाले दिनों में पार्टी के बड़े मुस्लिम चेहरे हो सकते हैं।
-वेणुगोपाल, जयराम, वासनिक अपनी जगह कायम
केसी वेणुगोपाल संगठन महासचिव, जयराम रमेश कम्यूनिकेशन प्रभारी और मुकुल वासनिक गुजरात के प्रभारी बरकरार रखे गए हैं। वहीं दीपक बबारिया को दिल्ली के साथ हरियाणा का अतिरिक्त प्रभार बरकरार रखा गया है।
-सुरजेवाला से एमपी वापस तो सैलजा का राज्य बदला
मध्यप्रदेश में करारी हार के बाद रणदीप सुरजेवाला से मध्यप्रदेश का अतिरिक्त प्रभार वापस ले लिया है। अब उन्हें सिर्फ कर्नाटक का प्रभारी महासचिव रखा गया है। इसी तरह छत्तीसगढ़ हारने के बाद कुमारी सैलजा को उत्तराखंड भेज दिया गया है।
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-कोषाध्यक्ष माकन के साथ लगाए दो संयुक्त कोषाध्यक्ष
कोषाध्यक्ष अजय माकन ही रहेंगे। जबकि संयुक्त कोषाध्यक्ष पद पर मिलिंद देवड़ा व विजय इंदर सिंगला को नियुक्त किया है।
-जिन्हें हटाया, वे अन्य जगह हो सकते हैं समायोजित
पार्टी महासचिव पद से हटाए गए तारिक अनवर व भक्त चरण दास को लोकसभा चुनाव लडऩे की तैयारी में लगने के लिए कहा गया है। इसी तरह हरीश चौधरी को राजस्थान में अहम जिम्मेदारी दी जा सकती है। इनके अलावा रजनी पाटिल और मनीष चाथराथ राज्यों के प्रभारी से हटाए गए हैं।
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महासचिव — प्रभारी
प्रियंका गांधी वाड्रा बिना पोर्टफोलियो
मुकुल वासनिक गुजरात
जितेंद्रसिंह — असम (अतिरिक्त चार्ज मध्यप्रदेश)
रणदीप सुरजेवाला — कर्नाटक
दीपक बावरिया — दिल्ली (अतिरिक्त चार्ज हरियाणा)
सचिन पायलट — छत्तीसगढ़
अविनाश पांडे — उत्तर प्रदेश
कुमारी शैलजा — उत्तराखंड
जीए मीर — झारखंड (अतिरिक्त चार्ज प.बंगाल)
दीपा दासमुंशी — केरल, लक्षद्वीप (अतिरिक्त चार्ज तेलंगाना)
जयराम रमेश संचार
केसी वेणुगोपाल संगठन
राज्य — प्रभारी
रमेश चेन्नीथला — महाराष्ट्र
मोहन प्रकाश — बिहार
डॉ चेलाकुमार — मेघालय, मिजोरम, अरुणाचल प्रदेश
अजय कुमार — ओडिशा (अतिरिक्त चार्ज तमिलनाडु, पुड्डुचेरी)
सुखजिंदरसिंह रंधावा — राजस्थान
भरतसिंह सोलंकी — जम्मू-कश्मीर
राजीव शुक्ला — हिमाचल प्रदेश, चंडीगढ़
देवेंद्र यादव — पंजाब
मानिकराव ठाकोर गोवा, दमन दीव, दादरा नगरहवेली
गिरिश चोडनकर त्रिपुरा, सिक्किम, मणिपुर, नागालैंड
मणिक्कम टेगोर आंध्रप्रदेश, अंडमान निकोबार
गुरदीपसिंह सप्पल प्रशासन