80,000 रुपए लोन का औसत आकार
क्रिफ हाईमार्क की रिपोर्ट के अनुसार, 2023 में महिलाओं पर बकाया कुल लोन की राशि बढक़र 30.95 लाख करोड़ रुपए रही है जो 2022 में 26 लाख करोड़ रुपए थी। पिछले वर्ष कारोबारी और शिक्षा लोन को छोडक़र सभी श्रेणियों में महिलाओं को लोन वितरण में वृद्धि रही। महिलाओं की ओर से लिए गए पर्सनल रहा। उन पर कुल 12.76 लाख करोड़ रुपए का पर्सनल लोन बकाया है।
76% चाहती हैं अपना बिजनेस
वहीं, आनलाइन मार्केटप्लेस इंडियालेंड्स के अनुसार, बड़ी संख्या में कामकाजी महिलाएं उद्यमी बनने और अपना खुद का व्यवसाय शुरू करना चाहती हैं। सर्वे के मुताबिक 76% वर्किंग वुमन खुद का व्यवसाय शुरू करने की इच्छा रखती हैं। 68%महिला उद्यमियों ने कहा कि वे अपनी कंपनी के खातों को स्वतंत्र रूप से प्रबंधित करती हैं। 68.7% उद्यमी महिलाएं अपना पैसा स्वयं निवेश करती हैं।
महिला उधारकर्ता ज्यादा भरोसेमंद
वहीं, फिनटेक प्लेटफॉर्म फाइब की रिपोर्ट के मुताबिक, पुरुषों की तुलना में महिलाएं हैं लोन चुकाने के मामले में ज्यादा भरोसेमंद और जिम्मेदार हैं। महिला उधारकर्ताओं की ईएमआइ चुकाने की संभावना पुरुषों से 10% अधिक है। पिछले 5 साल में पहली बार लोन लेने वाली महिलाओं की संख्या में दोगुनी से अधिक हो गई है। सर्वे के मुताबिक, वर्ष 2019 में 18% महिलाओं ने पहली बार लोन लिया था, जिनकी संख्या 2023 में 40% तक पहुंच गई। वहीं पहली बार लोन लेने वाले पुरुषों की संख्या 82% से घटकर 60% रह गई।
कहां निवेश करना पसंद करती हैं महिलाएं
३०.९५ लाख करोड़ रुपए का लोन महिलाओं ने लिया है अब तक, यह राशि 2022 में 26 लाख करोड़ थी। 19% घटा महिलाओं की ओर से लिया जाने वाला बिजनेस लेन, एजुकेशन लोन में भी 1% की गिरावट आई। 39% हिस्सेदारी महिलाओं की प्रॉपर्टी लोन में, पसर्नल लोन लेने वालों में 52% महिलाएं।