क्या बोले अरविंद केजरीवाल के वकील
जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस दीपांकर दत्ता की पीठ ने सोमवार को केजरीवाल की उस याचिका पर सुनवाई शुरू की, जिसमें उनकी गिरफ्तारी को चुनौती दी गई है। अभिषेक मनु सिंघवी ने पीठ के समक्ष आरोप लगाया कि आप नेता की गिरफ्तारी आदर्श आचार संहिता लागू होने के परिणामस्वरूप हुई है, जबकि एजेंसी के पास कार्रवाई के लिए कोई कारण या नई सामग्री नहीं थी। सिंघवी को करीब एक घंटे सुनने के बाद पीठ ने मामले को मंगलवार तक स्थगित कर दिया। ईडी की ओर से एएसजी एस.वी. राजू ने अनुरोध किया कि मामले की सुनवाई बुधवार को की जाए, लेकिन पीठ ने कहा कि मामले को मंगलवार को सूचीबद्ध किया जाएगा। बहस के दौरान सिंघवी ने कहा कि धन शोधन निवारण अधिनियम की धारा 19 का उल्लंघन करने के कारण गिरफ्तारी अवैध है। इसलिए रिट याचिका व्यापक महत्त्व से जुड़ी है। उन्होंने दलील दी कि अगस्त 2022 से लेकर गिरफ्तारी की तारीख तक दायर किए गए किसी भी दस्तावेज (एफआइआर, चार्जशीट, पूरक चार्जशीट, अभियोजन शिकायत आदि) में केजरीवाल का कथित घोटाले से दूर से भी कोई संबंध नहीं है। सीबीआइ की एफआइआर या ईडी की प्रवर्तन मामला सूचना रिपोर्ट (ईसीआइआर) में उनका नाम नहीं था। वरिष्ठ वकील ने जोर देकर कहा कि इसके बावजूद उन्हें कुछ बयानों के आधार पर गिरफ्तार किया गया, जो संदिग्ध परिस्थितियों में दिए गए थे, लेकिन उन्हें सत्य माना गया।
सीएम के जेल में होने से किताबों के वितरण में बाधा नहीं : हाईकोर्ट
दिल्ली हाईकोर्ट ने सोमवार को कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी स्कूली पाठ्य पुस्तकों के वितरण में बाधा नहीं बन सकती। सिर्फ इसलिए कि मुख्यमंत्री उपलब्ध नहीं हैं, बच्चों के मौलिक अधिकारों को कुचला नहीं जा सकता। हाईकोर्ट ने दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) के आयुक्त को किताबों के वितरण के लिए पांच करोड़ रुपए तक खर्च करने की इजाजत दे दी। कोर्ट ने कहा कि अगर कोई मुख्यमंत्री इतने लंबे समय तक अनुपस्थित रहता है तो यह राष्ट्रीय हित के खिलाफ है। यह इस बात को स्वीकार करने जैसा है कि मुख्यमंत्री की अनुपस्थिति के कारण दिल्ली सरकार ठप पड़ी हुई है।
माल्या से राघव चड्ढा की तुलना को लेकर यूट्यूब चैनल पर केस
आप के राज्यसभा सांसद राघव चड्ढा की तुलना भगोड़े विजय माल्या से करने के आरोप में पंजाब पुलिस ने कैपिटल टीवी नाम के यूट्यूब चैनल के खिलाफ एफआइआर दर्ज की है। लुधियाना लोकसभा सीट से आप उम्मीदवार अशोक पप्पी पाराशर के बेटे विकास पाराशर ने एफआइआर में आरोप लगाया कि चैनल ने आबकारी घोटाले पर भ्रामक सामग्री प्रसारित की और दावा किया कि आप ने चुनाव के टिकट बेचे हैं।