सुप्रीम कोर्ट के दखल से बहाल हुई सदस्यता लोकसभा चुनाव में हाल ही में हुए शपथ ग्रहण समारोह के दौरान अफजाल अंसारी शपथ नहीं ले पाए थे। दरअसल, गैंगस्टर केस में अफजाल अंसारी को कोर्ट ने चार साल की सजा सुनाई थी। अदालत के इस आदेश के बाद अफजाल अंसारी की लोकसभा सदस्यता चली गई थी। कोर्ट के फैसले के खिलाफ वह सुप्रीम पहुंचे, जहां उन्हें राहत मिली। इसके बाद पिछले साल 14 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट ने उनकी सदस्यता बहाल कराई।
सरकार ने शपथ लेने के लिए नहीं भेजा था न्यौता सुप्रीम कोर्ट ने अफजाल अंसारी की सदस्यता तो बहाल करा दी, लेकिन कुछ पाबंदियां भी लगा दीं। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के अनुसार, अफजाल अंसारी सदन की कार्यवाही में शामिल नहीं हो सकते। कोर्ट के आदेश को आधार बनाकर उन्हें शपथ लेने के लिए नहीं बुलाया गया, लेकिन अब उन्हें अलग से शपथ दिलाई गई।
BJP प्रत्याशी को सवा लाख वोट के अंतर से हराया बता दें कि अफजाल अंसारी ने गाजीपुर लोकसभा सीट से समाजवादी पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़ा था। इस चुनाव में उन्होंने भाजपा के पारसनाथ राय को करारी शिकस्त दी है। अफजाल अंसारी ने भाजपा के पारस नाथ राय को करीब 1.25 लाख वोटों से हराया था। इससे पहले 2019 के चुनाव में अंसारी ने बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर जम्मू-कश्मीर के वर्तमान उपराज्यपाल मनोज सिन्हा को भी करीब 1.50 लाख वोटों के अंतर से चुनाव हराया था।