नागौर

कागजी खानापूर्ति से छुट्टी, इस बार ऐप से होगा सर्वे

-सरकारी स्कूलों में प्रवेशोत्सव- मोबाइल ऐप में फीड होने वाली जानकारी सीधे शाला दर्पण से जुड़ेगी, सरकारी शिक्षकों को राहत, इस बार नामांकन का टारगेट और ज्यादा

नागौरApr 23, 2023 / 07:41 pm

Sandeep Pandey

परीक्षा खत्म होते ही सरकारी स्कूलों का प्रवेशोत्सव शुरू होगा। इस बार प्रवेशोत्सव कुछ खास तरीके से करने की तैयारियों को अमलीजामा पहनाया गया है। ऐप के जरिए घर-घर होने वाले सर्वे की फीडिंग होगी।



पत्रिका न्यूज नेटवर्क
नागौर. परीक्षा खत्म होते ही सरकारी स्कूलों का प्रवेशोत्सव शुरू होगा। इस बार प्रवेशोत्सव कुछ खास तरीके से करने की तैयारियों को अमलीजामा पहनाया गया है। ऐप के जरिए घर-घर होने वाले सर्वे की फीडिंग होगी। बिना किसी कागजी खानापूर्ति के शिक्षक नामांकन बढ़ाने की इस कवायद में जुटेंगे। गैर सरकारी संस्था एजुकेट गर्ल्स इसके लिए शिक्षकों की ट्रेनिंग देगा।
सूत्रों के अनुसार पिछले साल दस फीसदी नामांकन बढ़ाने का जो टारगेट जिम्मेदारों को दिया गया था, वो अधूरा रह गया। कोरोना काल के दो साल में बढ़े नामाकंन भी ढेर हो गए। करीब पचास हजार बच्चों की कमी नागौर जिले में रही। ये उन बच्चों की थी ही जिनका लक्ष्य पूरा नहीं हुआ, साथ ही इसमें वो भी शामिल थे जो टीसी कटाकर कहीं ओर शिफ्ट हो गए। गत सत्र में अक्टूबर माह तक करीब 62 हजार बच्चे नागौर जिले के सरकारी स्कूल में कम रहे। नामांकन बढ़ाने के लिए मुख्य ब्लॉक शिक्षा अधिकारी (सीबीइओ) को कहा भी गया और नोटिस भी थमाए गए पर कुछ नहीं हुआ। ना इनका कुछ बिगड़ा ना ही स्कूलों के बच्चे बढ़ पाए।
सूत्र बताते हैं कि इस बार सरकार का फोकस हर हाल में सरकारी स्कूलों का नामांकन ज्यादा से ज्यादा बढ़ाने का है। ऐसे में प्रवेशोत्सव कुछ नए तरीके से होने वाला है। डिजिटलाइजेशन के दौर में इस बार घर-घर सर्वे के लिए जाने वाले टीचर मोबाइल ऐप के जरिए जानकारी एकत्र करेंगे जो सीधे शाला दर्पण में शिफ्ट होगी। पहले कागज में जानकारी एकत्र कर कम्प्यटर और फिर फाइनल होकर शाला दर्पण में चढ़ पाती थी। इस बार यह सीधे शाला दर्पण में जुड़ेगी। टीचर की जहां लंबी मशक्कत भी दूर हो रही है, वहीं इस प्रक्रिया से उनका समय भी बचेगा।
अभी के हालात पर एक नजर

सूत्रों की मानें तो इस समय नागौर जिले में करीब तीन हजार सरकारी स्कूल हैं। वर्ष 2022-23 में इन स्कूलों में बच्चों का कुल नामांकन करीब तीन लाख 21 हजार है, जबकि सत्र की शुरुआत में दिए गए लक्ष्य के मुताबिक यह चार लाख 43 हजार होनी चाहिए। यह अंतर रहा करीब 63 हजार का। महात्मा गांधी स्कूलों में शिफ्ट बच्चों की संख्या कम भी करें तो करीब पचास हजार बच्चों का नामांकन कम रहा। बताया जाता है कि इस बार सरकारी स्कूलों का नामांकन ज्यादा से ज्यादा बढ़ाने के लिए सरकार ने कमर कस ली है। एजुकेट गर्ल्स संस्था टेक्नीकल सपोर्ट का काम पूरे राजस्थान में करेगी।
इनका कहना

सरकार के साथ प्रवेशोत्सव में कार्य करेंगे। टेक्नीकल सपोर्ट के साथ शिक्षकों को प्रशिक्षित किया जाएगा। मोबाइल ऐप के जरिए इस बार प्रवेशोत्सव की सारी जानकारी फीड होगी जो सीधे शाला दर्पण से जुड़ेगी। टीचर्स का काम भी कम होगा।
-बिस्मृति अब्राहम, प्रोजेक्ट मैनेजर, एजुकेट गर्ल्स

०००००००००००००००००००००००००००००००००

अभी सरकार की ओर से प्रवेशोत्सव की डेट नहीं आई है। नामांकन बढ़ाने/प्रवेशोत्सव के लिए इस बार टीचर्स कुछ नए तरीके से सर्वे व अन्य कार्य करेंगे।
-बस्तीराम सांगवा. एडीपीसी, समग्र शिक्षा, नागौर।

Hindi News / Nagaur / कागजी खानापूर्ति से छुट्टी, इस बार ऐप से होगा सर्वे

Copyright © 2024 Patrika Group. All Rights Reserved.