यह भी पढ़ें- आतंकी हमले में शहीद जवान सतेंद्र की अंतिम यात्रा में उमड़ा जन सैलाब, देखें वीडियाे बुढ़ाना पुलिस के अनुसार, मोहम्मदपुर गांव का रहने वाला दंगा पीड़ित इकराम पुत्र नफेदीन मुजफ्फरनगर दंगे के बाद से बुढ़ाना कस्बे की कच्ची बस्ती शफीपुर पट्टी में रह रहा था। बुढ़ाना पुलिस को बुधवार शाम सूचना मिली कि इकराम के घर में एक 25 हजार के इनामी बदमाश और एक गैंगस्टर ने शरण ले रखी है। सूचना मिलते ही सीओ बुढ़ाना पुलिस टीम के साथ इकराम के घर छापा मारने पहुंचे तो इकराम के परिजनों ने पुलिस टीम पर हमला बोल दिया।
पुलिस के मुताबिक, पुलिस की टीम को देखकर इकराम अपने घर की महिलाओं व परिवार के अन्य लोगों के साथ छत पर चढ़ गया और पुलिस टीम पर पथराव करना शुरू कर दिया। इतना ही नहीं इस दौरान पुलिस टीम पर मिर्ची पाउडर भी फेंका गया। अचानक हुए इस हमले से पुलिस टीम कुछ संभल पाती इससे पहले ही इकराम के घर शरण लेने वाला इनामी बदमाश और गैंगस्टर मौका पाते ही फरार हो गए। इसके बाद पुलिस ने हमला करने वाले दो आरोपियों को हिरासत में ले लिया।
यह भी पढ़ें- बीयर पीने वालों के लिए बड़ी खुशखबरी, Craft Beer परोसने को सरकार से मिली हरी झंडी जैसे ही पुलिस टीम दोनों हमले के आरोपियों को लेकर थाने पहुंची तो वहां बड़ी संख्या में रालोद नेता और कार्यकर्ता भी पहुंच गए। इस दौरान रालोद नेताओं ने पुलिस पर बेवजह घर में घुसने और इकराम की पत्नी व बेटी से बदसलूकी का आरोप लगाते हुए थाने का घेराव कर दिया। थाने के घेराव की सूचना मिलते ही मौके पर पहुंचे एसडीएम दीपक कुमार और सीओ विजय प्रकाश मौके पर पहुंचे। इस दौरान दोनों अधिकारियों ने रालोद नेताओं के साथ बातचीत करते हुए पूरे मामले की जानकारी दी तो रालोद नेता मामले की गंभीरता को समझते हुए बैकफुट पर आ गए। इस दौरान उन्होंने हिरासत में लिए गए दोनों आरोपियों को छोड़ने की मांग की। पुलिस ने उनकी मांग को मानते हुए दोनों को छोड़ दिया।
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सीओ ने गठित की जांच टीमइस पूरे मामले में सीओ विजय प्रकाश ने बताया कि पुलिस पर हमले के आरोप और इनामी बदमाश को अपने घर में शरण देने के आरोप में इकराम और अज्ञात के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। साथ ही इस मामले की जांच के लिए एक टीम का गठित की गई है। जांच के बाद हमलावरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी।