प्रधानमंत्री मंत्री मुद्रा योजना
माइक्रो यूनिट्स डेवलपमेंट एंड रिफाइनेंस एजेंसी के तहत पीएमएमवाई विभिन्न क्षेत्रों एवं व्यावसायिक गतिविधियों के साथ-साथ व्यवसाय एवं उद्यमी सेगमेंट की आर्थिक आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए लोन विकल्प प्रदान करता है। आम तौर पर बैंकों द्वारा एमएसएमई को 10 लाख रुपए तक का लोन बिना गारंटी के दिया जाता है।
योग्यता: ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में प्रोपराइटरशिप एवं एंटरप्राइज फर्मों से युक्त छोटे गैर कॉर्पोरेट व्यवसाय लोन के लिए आवेदन कर सकते हैं।एनसीएसबीएस के तहत छोटी मेन्यूफैक्चरिंग यूनिट, सर्विस सेक्टर यूनिट, दुकानदार, फल एवं सब्जी विक्रेता, ट्रक ऑपरेटर्स, फूड-सर्विस यूनिट यूनिट, मरम्मत की दुकानें, मशीन ऑपरेटर, छोटे उद्योग, कारीगर, फूड प्रोसेसर आदि सभी प्रकार के निर्माण, व्यापार और सर्विस सेक्टर की गतिविधियों में मुद्रा लोन लोन मिल सकता है।
तीन तरह के मिलते हैं लोन
शिशु लोन: 50,000 रुपए तक
किशोर लोन: 50,000 रुपए से 5 लाख रुपए तक
तरुण लोन: 5 लाख रुपए से 10 लाख रुपए तक
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59 मिनट में स्टार्ट-अप के लिए एमएसएमई बिजनस लोन
स्टार्ट-अप के लिए 59 मिनट में मिलने वाले एमएसएमई बिजनस लोन ऑफर किए जाते हैं और इनकी ब्याज दर 8.50 फीसदी होती है। माइक्रो एंड स्मॉल एंटरप्राइजेज के तहत क्रेडिट गारंटी फंड ट्रस्ट द्वारा संचालित, पहल का उद्देश्य विभिन्न प्रक्रियाओं को लोन मूल्यांकन के लिए इस तरह से स्वचालन करना है कि किसी को योग्यता लेटर के साथ-साथ लोन अप्रूवल 59 मिनट के भीतर मिल जाए। आवेदक अपनी पसंद का बैंक चुन सकता है। सामान्य तौर लोन राशि मंज़ूर किए जाने के 7-8 कार्य दिवसों में डिस्बर्स की जाती है।
योग्यता : इस विशेष लोन के लिए योग्य होने के लिए ग्राहक को जीएसटी, इनकम टैक्स पेयर होना चाहिए और कम से कम 6 महीने की टैक्स हिस्ट्री होनी चाहिए।
राजकोषीय प्रोत्साहन : इस योजना के तहत, स्टार्ट-अप के लिए बिजनस लोन न्यूनतम 1 लाख रुपए 5 करोड़ तक की राशि के लिए प्रदान किए जाते हैं। इस योजना की ब्याज दर 8.50 फीसदी है।
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क्रेडिट गारंटी योजना
एमएसएमई की लोन वितरण प्रणाली को मज़बूत और सुविधाजनक बनाने के लिए सरकार द्वारा सूक्ष्म और लघु उद्यमों योजना के लिए क्रेडिट गारंटी फंड ट्रस्ट शुरू किया गया था। सार्वजनिक, निजी और विदेशी बैंकों के साथ-साथ क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक और एसबीआई अपने सहयोगी बैंकों के साथ इस योजना के तहत लोन देने वाले संस्थानों में शामिल हैं।
योग्यता : खुदरा व्यापार, शैक्षणिक संस्थानों, कृषि, स्वयं सहायता समूहों को छोड़कर, निर्माण या सर्विस गतिविधियों में लगे नए और मौजूदा रूस्रूश्व, प्रशिक्षण संस्थान इस योजना के लिए योग्य हैं।
राजकोषीय प्रोत्साहन : उद्यमियों के लिए एमएसएमई की इस योजना में टर्म लोन और वर्किंग कैपिटल सुविधा 2 करोड़ तक शामिल है। लोन राशि के 75 फीसदी या 1.5 करोड़ रुपये तक की गारंटी कवर सुविधा उपलब्ध है। सूक्ष्म उद्यमों को 5 लाख रुपए तक के लोन पर 85 फीसदी तक के क्रेडिट की सुविधा है। सिक्किम सहित उत्तर पूर्वी क्षेत्र में संचालित एमएसएमई के स्वामित्व वाली महिलाओं के लिए 80 फीसदी क्रेडिट सुविधा मिलती है। एमएसएमई रिटेल ट्रेड के लिए 50 फीसदी गारंटी कवर अधिकतम 50 लाख रुपए का होता है।
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सिडबी मेक इन इंडिया सॉफ्ट लोन फंड
वर्ष 2015 में लांच स्माइल का संचालन लघु उद्योग विकास बैंक ऑफ इंडिया द्वारा किया जाता है। इस योजना का उद्देश्य नए एमएसएमई की स्थापना के लिए आवश्यक लोन-इक्विटी रेश्यो को पूरा करने के लिए सॉफ्ट लोन प्रदान करना है। इस योजना के तहत दी जाने वाली ब्याज दर 8.36 फीसदी है।
योग्यता : मौजूदा विनिर्माण और सर्विस सेक्टर के साथ बोर्ड के नए व्यवसाय इस योजना के लिए आवेदन कर सकते हैं। मौजूदा उद्यमों को अपने व्यवसाय के विस्तार के लिए अपग्रेडेशन या अन्य परियोजनाएं शुरू करने के लिए भी इस योजना के तहत लोन दिया जाएगा। अधिकतम लोन भुगतान अवधि 10 वर्ष है जिसमें 36 महीने का मोराटोरियम पीरियड शामिल है (लोन मिलने के बाद उसका भुगतान शुरू करने के बीच का समय)। स्माइल स्कीम के तहत दी जाने वाली न्यूनतम राशि 25 लाख रुपए है।
स्टैंड-अप इंडिया
लघु उद्योग विकास बैंक ऑफ इंडिया, स्टैंड अप इंडिया द्वारा अनुसूचित जाति/ अनुसूचित जनजाति वर्ग और महिला उद्यमियों को धन मुहैया कराने के लिए शुरू किया गया था। यह योजना प्रति बैंक शाखा में कम से कम एक एससी/एसटी और एक महिला ग्राहक को 10 लाख रुपए से 1 करोड़ तक का लोन प्रदान करती है।
योग्यता : इस योजना के लिए व्यापार, विनिर्माण, या सेवा क्षेत्रों के व्यवसाय योग्य माने जाते हैं। गैर-व्यक्तिगत उद्यमों के मामले में, हिस्सेदारी की कम से कम 51त्न हिस्सेदारी एससी/एसटी या महिला उद्यमी के पास होनी चाहिए।
राजकोषीय प्रोत्साहन
यह परियोजना का 75 फीसदी कवर करने के लिए 10 लाख से 1 करोड़ रुपये तक का लोन प्रदान करता है। इसके तहत परियोजना की लागत का 75 फीसदी तक लोन दिया जाता है। ये लागू नहीं होगा अगर बाकी का 25 फीसदी लोनधारक किसी अन्य लोन योजना से पैसा लेकर पूरा करेगा। ब्याज की दर सबसे कम लागू दर होगी – (बेस रेट (रूष्टरुक्र)) + 3 फीसदी + टेन्योर प्रीमियम।
बैंक क्रेडिट सुविधा योजना
राष्ट्रीय लघु उद्योग निगम द्वारा संचालित इस योजना का उद्देश्य एमएसएमई व्यवसायों की लोन आवश्यकताओं को पूरा करना है। राष्ट्रीय लघु उद्योग निगम ने इस उद्देश्य के लिए विभिन्न राष्ट्रीयकृत और निजी क्षेत्र के बैंकों के साथ एक एमओयू पर हस्ताक्षर किया है। इन बैंकों के साथ सिंडिकेशन के माध्यम से, राष्ट्रीय लघु उद्योग निगम एमएसएमई को बिना किसी लागत के बैंकों से क्रेडिट सपोर्ट (फंड- या गैर-फंड-आधारित सीमा) की व्यवस्था करता है।