उद्धव गुट के वरिष्ठ नेता संजय राउत ने कहा, “एकनाथ शिंदे ने नागपुर इंप्रूवमेंट ट्रस्ट (NIT) की 16 भूखंड गैरकानूनी तरीके से अपने बिल्डर्स को बेच दिए। जब यह पूरा मामला कोर्ट में गया तो कोर्ट ने भी कहा कि यह गैरकानूनी है।” उन्होंने आगे कहा, “जब एकनाथ शिंदे महाराष्ट्र में नगर विकास मंत्री थे तब उन्होंने यह घोटाला किया और मुख्यमंत्री का पद संभालने के बाद उन्होंने इस पर मुहर लगाई है। ये मुद्दा उठता रहेगा, हम चुप नहीं रहेंगे, मुख्यमंत्री को इस्तीफा देना पड़ेगा।”
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इससे पहले महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्षी महा विकास अघाड़ी (एमवीए) गठबंधन की ओर से इस मुद्दे को उठाया गया था और विधानसभा में काफी हंगामा भी हुआ था। विपक्ष ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पर भूमि घोटाले में शामिल होने का आरोप लगाया है और उनके तत्काल इस्तीफे की मांग की है। विपक्ष का आरोप है कि जब एकनाथ शिंदे तत्कालीन एमवीए सरकार में शहरी विकास मंत्री थे, तब उन्होंने नागपुर में लगभग 100 करोड़ रुपये की जमीन दी थी। तब इसे गरीबों और झुग्गी-झोपड़ियों में रहने वालों के लिए दिया गया था, लेकिन बाद में कथित तौर पर शिंदे ने इस जमीन को कुछ बिल्डरों को बमुश्किल 2 करोड़ रुपये के औने-पौने दर सौंप दिया। हालांकि एकनाथ शिंदे ने विधानसभा में स्पष्ट कहा था कि शहरी विकास मंत्री या मुख्यमंत्री रहते हुए उन्होंने नागपुर इंप्रूवमेंट ट्रस्ट मामले में कोई गलत काम नहीं किया है।