मुंबई

Mumbai: मुंबई के एक अस्पताल में बीमारियों से छुटकारा पाने के लिए संगीत की धुनों का सहारा ले रहे हैं मरीज

स्टडीज से पता चला है कि संगीत तनाव और चिंता के लेबल को कम कर सकता है, दर्द में कमी लाने और बेहतर नींद लेने में भी मददगार साबित हो सकता है। अलग-अलग अध्ययनों के मुताबिक, जहां उम्मीद और सकारात्मकता किसी भी गंभीर बीमारी से लड़ने के दो महत्वपूर्ण उपाय हैं, वहीं संगीत सबसे सस्ती दवा के रूप में मौजूद है।

मुंबईJul 31, 2022 / 07:34 pm

Siddharth

Piano

मुंबई के एक हॉस्पिटल में अनोखे तरीके से मरीजों का इलाज किया जाता है। पुराने हिंदी फिल्मी गीत की मधुर धुन एक अस्पताल के गलियारों में मरीजों के लिए बजाई जाती है। गाना बजते ही मरीज एक व्यक्ति के आसपास इकट्ठा होते हैं और वह व्यक्ति मरीजों को गुनगुनाने और अपने साथ मधुर संगीत में डूब जाने को प्रेरित करता है। कृष्णन अय्यर (75) को मरीजों को ठीक करने के लिए मेडिकल डिग्री की जरुरत नहीं है, वह अपनी बांसुरी और हारमोनिका की धुन बजाकर ही मरीजों को ठीक करते हैं।
अपने संगीत के शौक को सेवा में बदलने वाले कृष्णन अय्यर का कहना है कि संगीत में बीमारी मुक्त करने की शक्ति होती है और इससे मिलने वाली खुशी और मन की शांति की तुलना आर्थिक फायदा से नहीं की जा सकती। स्टडीज से पता चला है कि संगीत तनाव और चिंता के लेबल को कम कर सकता है, दर्द में कमी लाने और बेहतर नींद लेने में मददगार साबित हो सकता है।
यह भी पढ़ें

Mumbai News: नेरोलैक पेंट के पूर्व एमडी को एक शख्स ने ऐसा लगाया 59 लाख रुपए का चुना, मुंबई पुलिस ने दर्ज किया मामला

अलग-अलग स्टडीज के मुताबिक, जहां उम्मीद और सकारात्मकता किसी भी गंभीर बीमारी से लड़ने के दो महत्वपूर्ण उपाय हैं, वहीं संगीत सबसे सस्ती दवा के रूप में मौजूद है। अय्यर ने कहा कि वह कैंसर रोगियों, अनाथों, बूढ़े और जरूरतमंद व्यक्तियों के साथ वक्त बिताने और अपने संगीत द्वारा उनका मनोरंजन करने के बाद काफी उत्साहित महसूस करते हैं। मुंबई के उपनगरीय विले पार्ले के रहने वाले अय्यर को बचपन में ही फिल्मी संगीत से प्यार हो गया था।
संगीत को लेकर अय्यर के जुनून ने 15 साल पहले एक विचारपूर्ण मोड़ ले लिया, जब उनकी मां बीमार होने के बाद बिस्तर पर पड़ी थीं और उन्हें लगातार देखभाल की जरूरत थी, जो घर पर संभव नहीं था। करीब 10 सालों तक हॉस्पिटल में आने-जाने वाले अय्यर ने कहा कि मैंने उन्हें जोगेश्वरी के एक नर्सिंग होम में भर्ती कराया, जहां वह तीन साल तक रहीं और मैं हर हफ्ते उनसे मिलने जाता था।
इस हॉस्पिटल में करीब 40 से 50 मरीज थे, जिनमें ज्यादातर महिलाएं थीं, जो बिस्तर पर पड़ी थीं। इस दौरान मैं जब भी उन मरीजों से बात करता था और साथ-साथ उनके लिए संगीत भी बजाया करता था। इसके बाद से अय्यर ने दोस्तों के साथ मिलकर अंधेरी के एक क्लब में जाकर संगीत के साथ चिकित्सा की अपनी यात्रा शुरू की। यह क्लब वरिष्ठ नागरिकों के लिए है।

Hindi News / Mumbai / Mumbai: मुंबई के एक अस्पताल में बीमारियों से छुटकारा पाने के लिए संगीत की धुनों का सहारा ले रहे हैं मरीज

Copyright © 2025 Patrika Group. All Rights Reserved.