वहीं, दूसरी तरफ 28 सितंबर को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मुंबई के सीएसएमटी समेत तीन मुख्य स्टेशनों के लिए 10 हजार करोड़ रुपये की अनुमानित लागत के रीडेवलपमेंट प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। सीएसएमटी का पुनर्विकास रेल भूमि विकास प्राधिकरण (आरएलडीए) के जरिए पिछले डीबीएफओटी (डिजाइन, बिल्ड, फाइनेंस, ऑपरेट एंड ट्रांसफर) मॉडल के विपरीत एक हाइब्रिड वार्षिकी मॉडल पर किया जाएगा।
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बता दें कि पहले भारतीय रेलवे स्टेशन विकास निगम (आरएसडीसी) के माध्यम से रीडेवलेपमेंट होने वाला था, लेकिन अब आरएलडीए को प्रोजेक्ट इम्प्लीमेंटशन अथॉरिटी बना दिया गया है। देश के सबसे व्यस्त रेलवे स्टेशनों में से सीएसएमटी एक है। यहां रोजाना करीब 16 लाख यात्री आते हैं। मीडिया रिपोर्ट्स से मिली जानकारी के मुताबिक, स्टेशन के रीडेवलपमेंट प्लान में एक विशाल रूफटॉप प्लाजा शामिल है जिसमें कैफेटेरिया, खुदरा और मनोरंजक सुविधाओं के लिए सभी यात्री सुविधाएं उपलब्ध होंगी। इसके साथ ही वेटिंग लाउंज, बच्चों के खेलने के लिए जगह, फूड कोर्ट, स्थानीय उत्पादों की बिक्री के लिए जगह आदि की भी पूरी व्यवस्था की जाएगी। रीडेवलपमेंट प्लान में रेलवे स्टेशन को मल्टीमॉडल ट्रांसपोर्ट हब बनाने के लिए अलग-अलग तरीकों के एकीकरण की संप्रत्यय की गई है। इसमें आने और जाने वाले यात्रियों का सेग्रीगेशन, ‘दिव्यांग’ अनुकूल स्टेशन, यात्रियों के लिए बेहतर स्तर की सेवाएं, एक ऊर्जा-कुशल इमारत और हेरिटेज साइट का रिस्टोरेशन आदि शामिल किया जाएगा।