बीजेपी के वरिष्ठ नेता देवेंद्र फडणवीस ने कहा, मराठवाडा क्षेत्र के कुछ इलाकों में पानी की कमी हो गई है। मराठवाडा को हर चार साल में सूखे का सामना करना पड़ता है। 2014 में 53 फीसदी बारिश हुई थी। 2018 में 64 फीसदी बारिश हुई थी। अब भी लगभग 50 फीसदी बारिश हो चुकी है। इसलिए हम मराठवाडा को हमेशा के लिए सूखा मुक्त बनाने का प्रयास कर रहे हैं और हमने इस संबंध में निर्णय भी लिया है।
मराठवाडा ग्रिड योजना
फडणवीस ने कहा कि इसके लिए मराठवाडा ग्रिड योजना लाई गई है। इससे मराठवाडा के बांधों को एक दूसरे से जोड़ने का प्रयास किया जाएगा। इससे अगर एक इलाके में ज्यादा बारिश होगी तो वहां से पानी दूसरी जगह ले जाया जा सकेगा।
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मराठवाडा ग्रिड योजना
फडणवीस ने कहा कि इसके लिए मराठवाडा ग्रिड योजना लाई गई है। इससे मराठवाडा के बांधों को एक दूसरे से जोड़ने का प्रयास किया जाएगा। इससे अगर एक इलाके में ज्यादा बारिश होगी तो वहां से पानी दूसरी जगह ले जाया जा सकेगा।
उन्होंने कहा, पिछले ढाई साल में इस काम पर ब्रेक लग गया था। लेकिन, अब फिर से हमने ये काम शुरू कर दिया है। हमने मराठवाडा ग्रिड योजना के लिए केंद्र से फंड की मांग की है और हमें उम्मीद है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी फंड मुहैया कराएँगे। इसलिए हम पश्चिमी चैनलों से बहने वाले पानी को गोदावरी घाटी में लाने की योजना लेकर आए है। लेकिन पिछले ढाई साल में जब हमारी सरकार नहीं थी तो इस पर काम नहीं हुआ। लेकिन अब मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के मार्गदर्शन में इस काम को गति देंगे।
फडणवीस ने विरोधियों पर बोला हमला
इस दौरान डिप्टी सीएम फडणवीस ने विरोधियों पर जोरदार हमला बोला। उन्होंने कहा, “हमारे विरोधी सुबह से ही हमारी आलोचना करन शुरू करते हैं। एक भोंगा सुबह 9 बजे शुरू होता है और फिर अन्य भोंगे दिन भर शुरू रहते है। उनके पास बात करने के लिए कुछ नहीं है। उनके पास विकास का एक भी मुद्दा नहीं है। मैं उन्हें चुनौती देता हूँ कि विकास का एक मुद्दा बता दीजिये। सिर्फ उंगली उठाने से कुछ नहीं होगा।“
फडणवीस ने विरोधियों पर बोला हमला
इस दौरान डिप्टी सीएम फडणवीस ने विरोधियों पर जोरदार हमला बोला। उन्होंने कहा, “हमारे विरोधी सुबह से ही हमारी आलोचना करन शुरू करते हैं। एक भोंगा सुबह 9 बजे शुरू होता है और फिर अन्य भोंगे दिन भर शुरू रहते है। उनके पास बात करने के लिए कुछ नहीं है। उनके पास विकास का एक भी मुद्दा नहीं है। मैं उन्हें चुनौती देता हूँ कि विकास का एक मुद्दा बता दीजिये। सिर्फ उंगली उठाने से कुछ नहीं होगा।“