वन मंत्री सुधीर मुनगंटीवार ने कहा कि साल 2019-20 में जंगली जानवरों के हमले में 47 लोगों की मौत हुई। वहीं, साल 2020-21 में 80 और 2021-22 में 86 लोगों ने अपनी जान गवाई है। मुनगंटीवार ने कहा कि ऐसे मामलों में वित्तीय सहायता को 15 लाख रुपये से बढ़ाकर 20 लाख रुपये कर दिया गया है।
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बता दें कि सुधीर मुनगंटीवार ने कहा कि तेंदुआ, बाघ, भालू, ‘गौर’, जंगली सुअर, भेड़िये, लकड़बग्घे, मगरमच्छ, जंगली कुत्ते और हाथी के हमले की वजह से मौत के मामले में वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। इस तरह के हमलों में मवेशियों की मौत के लिए मुआवजे की राशि 60 हजार रुपये से बढ़ाकर 70 हजार रुपये कर दी गई है। इन दिनों महाराष्ट्र में जंगली जानवरों का आतंक काफी ज्यादा बढ़ गया है। पिछले एक साल में 86 लोगों ने जंगली जानवरों के हमले में अपनी जान गवाई है। वहीं, पिछले तीन साल के आंकड़ों पर नजर डालें तो करीब 213 लोगों की मौत जंगली जानवरों के हमले से हुआ है। महाराष्ट्र के नासिक, नागपुर, औरंगाबाद और मुंबई के गोरेगांव इलाके में अक्सर जंगली जानवरों का खतरा बना रहता है।