अगस्त के महीने में जालना में समर्थ रामदास (Samarth Ramdas) की जन्मस्थली ‘जांब समर्थ’ स्थित राम मंदिर (Ram Mandir) से कई ऐतिहासिक मूर्तियों को चुराया गया था। मंदिर से 450 साल पुरानी ऐतिहासिक मूर्तियों के चोरी होने से भक्तों में रोष था। जिसके बाद इस वारदात की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया था।
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समर्थ रामदास के जन्मस्थली गांव में स्थित राम मंदिर से 22 अगस्त को ऐतिहासिक मूर्तियां चोरी हो गई थी। पुलिस ने कर्नाटक और सोलापुर से दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इस मामले का एक अन्य आरोपी अभी फरार है। आरोपियों के पास से चोरी की कुछ ऐतिहासिक मूर्तियां बरामद की हैं। चौंकाने वाली बात यह है कि चोरों ने ऐतिहासिक मूर्ति को 25 हजार रुपये में बेच दिया था। इस एसआईटी का गठन पुलिस महानिदेशक के निर्देश पर किया गया था। इस चोरी की घटना की गहन जांच के लिए तमिलनाडु पुलिस की एक्सपर्ट आइडल विंग (Idol Wing) की मदद ली गई और केस को सुलझा लिया गया।
यह मामला महाराष्ट्र विधानसभा तक भी पहुंचा. शुरुआत में जालना की क्राइम ब्रांच राम मंदिर से मूर्तियों की चोरी की जांच कर रही थी। उसके बाद इस मामले की जांच एसआईटी को सौंप दी गई।
मुख्य आरोपी की तलाश जारी
पुलिस ने आरोपी के पास से एक ऐतिहासिक मूर्ति बरामद की है। गिरफ्तार किए गए दो आरोपियों में एक आरोपी चोरी में शामिल था, जबकि दूसरा आरोपी चोरी का सामान खरीदने-बेचने में संलिप्त था। इस मामले का मुख्य आरोपी अभी फरार है। पुलिस मुख्य आरोपित की तलाश कर रही है। पुलिस को आशंका है कि फरार आरोपी के पास अन्य ऐतिहासिक मूर्तियाँ भी हो सकती हैं। पुलिस ने बताया कि मामले की जांच जारी है।
मुख्य आरोपी की तलाश जारी
पुलिस ने आरोपी के पास से एक ऐतिहासिक मूर्ति बरामद की है। गिरफ्तार किए गए दो आरोपियों में एक आरोपी चोरी में शामिल था, जबकि दूसरा आरोपी चोरी का सामान खरीदने-बेचने में संलिप्त था। इस मामले का मुख्य आरोपी अभी फरार है। पुलिस मुख्य आरोपित की तलाश कर रही है। पुलिस को आशंका है कि फरार आरोपी के पास अन्य ऐतिहासिक मूर्तियाँ भी हो सकती हैं। पुलिस ने बताया कि मामले की जांच जारी है।