मुंबई में एक कार्यक्रम में शिवसेना उद्धव ठाकरे गुट के पूर्व विधायक तुकाराम काते और पूर्व पार्षद और कांग्रेस के छह पूर्व पार्षद एकनाथ शिंदे की शिवसेना में शामिल हुए। इस कार्यक्रम में सीएम शिंदे खुद मौजूद रहे। इस दौरान उन्होंने राज्य के पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे पर भी निशाना साधा।
कांग्रेस को मुंबई में नुकसान
इसके साथ ही कांग्रेस के पूर्व नगरसेवक और सिद्धिविनायक ट्रस्ट के पूर्व ट्रस्टी भास्कर शेट्टी, नगरसेविका पुष्पा कोली, पूर्व नगरसेविका गंगा कुणाल माने, पूर्व नगरसेवक वाजिद कुरेशी, पूर्व नगरसेवक बब्बू खान और पूर्व नगरसेवक कुणाल माने भी शिवसेना में शामिल हो गए।
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मुंबई के अणुशक्ति नगर के पूर्व शिवसेना UBT विधायक तुकाराम काते, वार्ड नंबर 146 की पूर्व नगरसेविका समृद्धि काते कई कार्यकर्ताओं के साथ शिवसेना में शामिल हुए। शिवसेना प्रमुख एकनाथ शिंदे ने ट्वीट कर बताया कि सभी का पार्टी में स्वागत किया गया और उनके भविष्य के सामाजिक एवं राजनीतिक करियर के लिए शुभकामनाएं दीं।कांग्रेस को मुंबई में नुकसान
इसके साथ ही कांग्रेस के पूर्व नगरसेवक और सिद्धिविनायक ट्रस्ट के पूर्व ट्रस्टी भास्कर शेट्टी, नगरसेविका पुष्पा कोली, पूर्व नगरसेविका गंगा कुणाल माने, पूर्व नगरसेवक वाजिद कुरेशी, पूर्व नगरसेवक बब्बू खान और पूर्व नगरसेवक कुणाल माने भी शिवसेना में शामिल हो गए।
इस मौके पर शिंदे ने दावा किया है कि अगले दो से ढाई साल में मुंबई की सड़कें गड्ढा मुक्त होंगी। उन्होंने उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली प्रतिद्वंद्वी शिवसेना (यूबीटी) पर कटाक्ष करते हुए कहा कि यदि शहर की सड़कों के कंक्रीटीकरण का काम पूरा हो गया होता तो आज हादसों में लोगों की जान नहीं जाती।
शिवसेना UBT पर बोला हमला
मुख्यमंत्री ने कहा, “दो से ढाई साल में मुंबई गड्ढों से मुक्त हो जाएगी और सभी सड़कें पक्की हो जाएंगी। पहले हर बरसात के मौसम में तारकोल की सड़कें बनाई जाती थीं और लोगों को गड्ढों वाली सड़कों पर यात्रा करने के लिए मजबूर होना पड़ता था।”
शिवसेना UBT पर बोला हमला
मुख्यमंत्री ने कहा, “दो से ढाई साल में मुंबई गड्ढों से मुक्त हो जाएगी और सभी सड़कें पक्की हो जाएंगी। पहले हर बरसात के मौसम में तारकोल की सड़कें बनाई जाती थीं और लोगों को गड्ढों वाली सड़कों पर यात्रा करने के लिए मजबूर होना पड़ता था।”
मालूम हो कि अविभाजित शिवसेना का 1997 से 2022 तक बीएमसी पर नियंत्रण रहा। बीएमसी के पार्षदों का कार्यकाल पिछले साल की शुरुआत में समाप्त हो गया था। लेकिन बीएमसी चुनाव न होने के कारण महाराष्ट्र सरकार ने बीएमसी कमिश्नर IAS इकबाल सिंह चहल को काम-काज देखने के लिए प्रशासक नियुक्त किया। चहल 8 मार्च 2022 से नगर निगम के प्रशासक की जिम्मेदारी निभा रहे हैं।