मुंबई में बीजेपी का घोषणापत्र जारी करने के बाद पत्रकारों से बात करते हुए अमित शाह ने कहा कि महायुति गठबंधन के तीनों साझेदार- बीजेपी, सीएम एकनाथ शिंदे की शिवसेना और डिप्टी सीएम अजित पवार नीत एनसीपी ने अपने घोषणपत्र जारी किए हैं। चुनाव जीतने के बाद तीनों सहयोगी दलों के मंत्रियों की एक कमेटी बनाई जाएगी, जो इस ‘संकल्प पत्र’ के वादों को प्राथमिकता देने पर निर्णय लेगा।
इस दौरान अमित शाह ने कहा, ‘‘अभी एकनाथ शिंदे मुख्यमंत्री हैं। चुनाव के बाद गठबंधन के तीनों साझेदार मुख्यमंत्री पद पर फैसला लेंगे।’’
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उन्होंने कहा कि शिवसेना और एनसीपी दो धड़ों में इसलिए बंटी क्योंकि उद्धव ठाकरे ने एकनाथ शिंदे के बजाय अपने बेटे को तरजीह दी और शरद पवार ने अजित पवार के बजाय अपनी बेटी को तरजीह दी। जबकि बीजेपी परिवार आधारित राजनीति के खिलाफ है। उन्होंने कहा, ये दल अपने परिवार के सदस्यों को प्राथमिकता देते हैं और पार्टी बंट जाती है। वे बिना किसी बात के बीजेपी को जिम्मेदार ठहराते हैं। अमित शाह ने कहा कि विपक्षी महाविकास आघाडी (एमवीए) ने महिलाओं के लिए महायुति सरकार की लाडकी बहिन योजना की आलोचना की, लेकिन उसने और अधिक वित्तीय सहायता देने का ऐसा ही आश्वासन दिया है।
गौरतलब हो कि महाराष्ट्र में 288 सदस्यीय राज्य विधानसभा के लिए मतदान 20 नवंबर को होगा और नतीजे 23 नवंबर को घोषित किए जाएंगे। सत्ता के लिए मुख्य मुकाबला सत्तारूढ़ महायुति और एमवीए के बीच है। एमवीए में कांग्रेस, शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) और एनसीपी (शरदचंद्र पवार) शामिल हैं। जबकि महायुति गठबंधन में बीजेपी, शिवसेना (एकनाथ शिंदे) और एनसीपी (अजित पवार) है।