इन दिनों अच्छी बात यह हो रही है, हिंदी फिल्मों में मुद्दों पर आधारित फिल्मों की बयार चल रही है और अच्छी बात यह है दर्शक इन फिल्मों को स्वीकार भी कर रहे हैं। ऐसी ही एक फिल्म उजड़ा चमन दर्शकों के बीच आई है, जो गंजेपन पर आधारित है। इस फिल्म के मुख्य किरदार हैं चमन यानि सनी सिंह, जो दिल्ली के एक कॉलेज में हिंदी के प्रोफेसर हैं। राजौरी में रहने वाले पारंपरिक पंजाबी परिवार का यह लड़का शादी लायक हो गया है। लेकिन सब कुछ अच्छा होते हुए भी शादी में रुकावटें आती हैं, सिर्फ इसलिए क्योंकि वह गंजा है। इसके कारण वह अपने आसपास हंसी का पात्र बना रहता है।
ऐसे में उसे मिलती है अप्सरा (मानवी गगरू) जो ओवरवेट है। घरवाले चाहते हैं, दोनों की शादी हो जाए मगर क्या यह शादी हो पाएगी? चमन अपने गंजेपन की हीन भावना से मुक्त हो पाएगा? इसी पर आधारित है फिल्म उजड़ा चमन। इस फिल्म का निर्देशन अभिषेक पाठक ने किया है।
पत्रिका रिव्यू
फिल्म जल्दबाजी में बनाई लग रही है।
क्टर्स होने के बावजूद जो दृश्य बने हैं वे बनावटी साबित होते हैं।
कुल मिलाकर इस फिल्म को पत्रिका एंटरटेंमेंट की ओर से 5 में से 2 स्टार्स दिए जाते हैं। हालांकि मूवी कितनी सक्सेसफुल होती है, यह तो आने वाले हफ्ते में ही पता चलेगा।