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शहर इमाम सैयद मासूम अली आज़ाद की अध्क्ष्यता में विरोध प्रदर्शन आयोजित किया गया। वक्ताओं ने एक सुर से केंद्र सरकार द्वारा पारित तीन तलक बिल की मुखालफत की। और इसे वापस लेने की अपील की। बोले केंद्र सरकार हम पर जबरन ये कानून थोपना चाह रही है। जबकि इस्लाम में वैसे भी किसी के साथ नाइंसाफी मंजूर नहीं है। ये बिल कहीं से भी सही नहीं है। यही नहीं डॉ आसमा हैदराबादी ने कहा कि वे किसी भी सुरत में इसे स्वीकार नहीं करेंगी। उन्होंने कहा कि ये कानून मुस्लिम महिलाओं के खिलाफ है। सुप्रीम कोर्ट ने एक बार में तीन तलाक को अवैध बताकर उसे गलत ठहराया था और सरकार को इस पर कानून बनाना है। इसलिए अभी बिल लोक सभा में पास हुआ है और सरकार इसे राज्यसभा में भी पास कराने के लिए लाएगी। हम सरकार पर इसे वापस लेने का दबाब बनायेगे। वहीँ राममंदिर पर कहा कि जो सुप्रीम कोर्ट जो निर्णय देगा हम उसे स्वीकार करेंगे।
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विरोध प्रदर्शन में बड़ी संख्या में मुस्लिम महिलाओं ने भाग लिया जिसे देख आयोजक भी गदगद हो गए। इसके साथ ही विरोध के प्रदर्शन के बाद कमेटी की ओर से राष्ट्रपति को संबोधित करते हुए ज्ञापन भी भेजा गया है। जिसमें तीन तलाक बिल को वापस लेने की मांग दोहराई गयी है। इसे मुस्लिम समाज में दखलंदाजी बताया गया है।