बरामद नकली शराब की कीमत करीब 20 लाख रुपये बताई जा रही है। सातों आरोपी अपने अन्य चार साथियों के साथ मिलकर लोकसभा चुनाव में खपाने के लिए अवैध रूप से शराब तैयार करके बेच रहे थे। गिरफ्तार किए गए सातों आरोपियों को पुलिस ने कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया है। अवैध फैक्ट्री पकड़ने वाली टीम को एसएसपी ने 25 हजार रुपये का इनाम दिया है।
एसएसपी हेमराज मीणा और सीओ सिविल लाइंस अर्पित कपूर ने रविवार को पुलिस लाइन में पत्रकारों से बात करते हुए नकली शराब फैक्ट्री और शराब तस्कर गैंग का खुलासा किया। एसएसपी हेमराज मीणा ने बताया कि एसएचओ मझोला कमलेश कांत वर्मा और एसओजी प्रभारी अमित कुमार की टीम रविवार सुबह मझोला क्षेत्र के बुद्धि विहार इलाके में व्हाइट हाउस चौराहे पर चेकिंग कर रही थी। उसी दौरान स्कूटी सवार को रोकने का प्रयास किया तो वह भागने लगा। पुलिस ने घेराबंदी कर स्कूटी सवार को पकड़ लिया।
पूछताछ में उसकी पहचान संभल जिले के नखासा थाना क्षेत्र के सिंहपुरसानी निवासी मुनाजिर उर्फ साहिल के रूप में हुई। उसके पास से ब्लेंडर्स प्राइड ब्रांड की 12 बोतल शराब बरामद हुई। बरामद शराब की बोतल पर लगे बार कोड को टीम ने यूपी एक्साइज ऐप की सहायता से स्कैन करने का प्रयास किया तो वह स्कैन नहीं हुआ। बाद में सख्ती से पूछने पर आरोपी ने नकली शराब बनाने की फैक्ट्री चलाने की बात स्वीकार की और बताया कि खुशहालपुर में रविंद्र कुमार का मकान किराये पर लेकर वहां अवैध रूप से मिलावटी शराब बनाकर बेचते हैं।
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पुलिस गिरफ्त में आए अवैध शराब का गोरखधंधा करने वालों ने पुलिस पूछताछ में बताया कि लोकसभा चुनाव के चलते शराब की डिमांड बढ़ गई थी। कुछ नेताओं ने भी उनसे अवैध रूप से सस्ती शराब उपलब्ध कराने को कहा था। इसी डिमांड को पूरी करने के लिए आरोपी बड़े पैमाने पर अवैध रूप से नकली शराब बनाकर उसे खपाने के प्रयास में जुटे थे। एसएसपी हेमराज मीणा ने कहा कि पुलिस टीम पूरे नेटवर्क ओर इससे जुड़े लोगों के बारे में जानकारी कर गहनता से जांच कर रही है। जो भी इसमें संलिप्त पाया जाएगा उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।