बुधवार को अपनी मुलाकात के दौरान दोनों देशों ने अपने द्विपक्षीय संबंधों की समीक्षा की और अपने स्थिर विकास पर संतोष व्यक्त किया। विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि भारत और अर्मेनिया के बीच सदियों से चले आ रहे ऐतिहासिक संबंधों को याद करते हुए दोनों प्रधानमंत्रियों ने दोनों देशों के लोगों के बीच विद्यमान सद्भावना को द्विपक्षीय सहयोग के लिए ठोस आधार बताया। मोदी ने द्विपक्षीय व्यापार और निवेश बढ़ाने की जरूरत पर बल देते हुए अर्मेनिया के आईटी, कृषि प्रसंस्करण, फार्मास्यूटिकल, टूरिज्म और अन्य सेक्टरों में अवसरों की खोज में भारतीय कंपनियों की रुचि का भी उल्लेख किया।