George Floyd Death: ब्रिटेन में हिंसक हुआ आंदोलन, प्रदर्शनकारियों ने मशहूर व्यापारी की मूर्ति उखाड़ फेंकी
Highlights
अश्वेत जॉर्ज फ्लॉयड (George Floyd ) की 25 मई को अमरीका के मिनियापोलिस पुलिस हिरासत में मौत हो गई थी।
ब्रिस्टल (Bristil) में प्रदर्शनकारियों ने गुलाम व्यापारी एडवर्ड कॉलस्टन की एक मूर्ति को प्लेटफॉर्म से उखाड़ फेंका।
ब्रिटेन में हिंसक हुआ आंदोलन, कई पुलिसकर्मी घायल हो गए।
लंदन। अमरीका (America) में अश्वेत की पुलिस हिरासत में मौत के बाद भड़के आंदोलन की आग ब्रिटेन (Britain) तक पहुंच चुकी हैं। स्कॉटलैंड यार्ड में सैकड़ों प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतर आए। रविवार को प्रदर्शन के दौरान भीड़ ने हिंसक रवैया अपना लिया। इस दौरान 14 मेट्रोपोलिटिन पुलिस अधिकारी घायल हो गए। प्रशासन ने प्रदर्शनकारियों से संयम बरतने की अपील की है।
गुलाम व्यापरी की मूर्ति तोड़ी ब्रिस्टल में प्रदर्शनकारियों ने गुलाम व्यापारी एडवर्ड कॉलस्टन की एक मूर्ति को प्लेटफॉर्म से उखाड़ फेंका। इस दौरान एक प्रदर्शकारी ने मूर्ति की गर्दन पर अपने घुटने को कुछ देर के लिए टिका दिया। जैसे जॉर्ज फ्लॉयड( George Floyd) के साथ हुआ था। बाद में मूर्ति को बंदरगाह पर फेंक दिया गया।
गौरतलब है कि अश्वेत जॉर्ज फ्लॉयड की 25 मई को अमरीका के मिनियापोलिस पुलिस हिरासत में मौत हो गई थी। एक श्वेत पुलिस अधिकारी डेरेक चाउविन ने उसे जमीन पर गिराकर अपने घुटने उसकी गर्दन को आठ मिनट से ज्यादा समय तक दबाए रखा। इस दौरान 46 वर्षीय फ्लॉयड सांस लेने के लिए छटपटाता रहा। बाद में उसकी मौत हो गई। इस घटना का वीडियो वायरल होने के बाद पूरे अमरीका में प्रदर्शन शुरू हो गए।
ब्रिटेन में लॉकडाउन का उल्लंघन करते हुए हजारों की संख्या में लोग “जॉर्ज फ्लॉयड के लिये न्याय” के प्रदर्शन में शामिल हुए। इन लोगों ने हाथों में तख्तियां ले रखी थी जिस पर लिखा था ‘कोविड-19’ से भी एक बड़ा विषाणु हैं नस्लवाद। ये लोग अमरीका में फ्लॉयड को लेकर प्रदर्शन कर रहे लोगों के प्रति एकजुटता दिखाने के लिए इसमें शामिल हुए।
लंदन में डाउनिंग स्ट्रीट के सामने हो रहा प्रदर्शन कुछ देर बाद में हिंसक हो गया। वहां मौजूद कुछ समूहों ने पुलिस अधिकारियों पर पत्थर फेंकने शुरू कर दिए। इसमें एक घुड़सवार महिला अधिकारी समेत 14 मेट्रोपोलिटिन पुलिस अधिकारियों को चोट आई। महिला अधिकारी अपने घोड़े से गिर गई और उसे अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा। उसकी हालत हालांकि खतरे से बाहर है।
लंदन, ब्रिस्टल, मैनचेस्टर, वॉल्वरहैम्प्टन, नॉटिंघम, ग्लासगो और एडिनबर्ग सहित पूरे ब्रिटेन के शहरों में हजारों प्रदर्शनकारियों ने दूसरे दिन भी सामूहिक रूप से प्रदर्शन किया। अमरीकी दूतावास के बाहर हजारों प्रदर्शनकारियों ने शांतिपूर्ण प्रदर्शन किया। कुछ जगह जैसे लंदन में 12 गिरफ्तारियां हुईं। इस दौरान पुलिस के आठ अधिकारी घायल हो गए।
मेट्रोपोलिटिन पुलिस आयुक्त डिक ने एक बयान में कहा कि वे इस बात से बेहद दुखी और निराश हैं कि कुछ प्रदर्शनकारी लंदन में अधिकारियों के प्रति हिंसक हो गए। उन्होंने कहा, “हमलों की संख्या चौंकाने वाली और पूरी तरह से अस्वीकार्य है। वहीं ब्रिटेन के पीएम ने ट्वीट कर इस आदोलन को ठगी का शिकार बताया है।