मेहुल चोकसी एंटीगुआ से लापता होकर डोमिनिका में पकड़ा गया था। गुरुवार 3 जून को डोमिनिका हाईकोर्ट में इस मामले पर फैसला आ सकता है। कोर्ट के इस फैसले के बाद मेहुल चोकसी के वकील विजय अग्रवाल ने कहा कि वह मेहुल की जमानत के लिए ऊपरी अदालत का दरवाजा खटखटाएंगे।
यह भी पढ़ेँः ‘फेयरवेल करा दो, नेहा को साड़ी में देखना था’, CBSE Board Exam रद्द होने पर छात्र का पीएम मोदी से रिक्वेस्ट ट्वीट हुआ वायरल, नेहा ने दिया ये जवाब पंजाब नेशनल बैंक में 13,500 करोड़ रुपये के धोखाधड़ी मामले में आरोपी मेहुल चोकसी भारत में वांछित है। उसके वकील ने आरोप लगाया कि उनके मुवक्किल को एंटीगुआ के जॉली हार्बर से अगवा किया गया और उसे करीब 100 नॉटिकल मील दूर एक बोट से डोमिनिका ले जाया गया।
डोमिनिका कोर्ट के आदेश के बाद हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी को देश में अवैध रूप से घुसने के आरोपों का जवाब देने के लिए मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश किया गया था। चोकसी व्हील चेयर पर मजिस्ट्रेट के सामने पेश हुए। इससे पहले, डोमिनिका हाईकोर्ट की न्यायाधीश बर्नी स्टीफेंसन ने चोकसी की बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका पर करीब तीन घंटे तक सुनवाई करने के बाद उसे मजिस्ट्रेट अदालत में पेश किए जाने का आदेश जारी किया था।
यह भी पढ़ेंः SBI का ग्राहकों के लिए अलर्ट, 30 जून तक निपटा लें ये काम, वरना बैंकिंग में आ सकती है मुश्किल मजिस्ट्रेट कोर्ट में चोकसी का दावा मेहुल चोकसी ने मजिस्ट्रेट कोर्ट में दावा किया था कि उसे एंटीगुआ और बारबुडा से अपहरण कर जबरन कैरीबियाई द्वीप देश में लाया गया। इधर, हाई कोर्ट ने गुरुवार तक बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका पर सुनवाई स्थगित कर दी। चोकसी की दलीलें खारिज करते हुए उच्च न्यायालय में अभियोजन पक्ष ने कहा कि बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका टिकती ही नहीं है, क्योंकि आरोपी अवैध रूप से देश में घुसा और उसे बाद में उसे हिरासत में ले लिया गया।
चोकसी के वकील विजय अग्रवाल ने कहा, ‘हमारा मानना है कि मेहुल अवैध हिरासत में है क्योंक उसे 72 घंटे के अंदर मजिस्ट्रेट के सामने पेश किया जाना था, जबकि ऐसा नहीं किया गया।
इसके उपचार के तहत उन्हें मजिस्ट्रेट के सामने पेश करने को कहा गया है। इससे मेहुल चोकसी की अवैध हिरासत की पुष्टि होती है जैसा कि बचाव पक्ष की दलील है।’