इस याचिका में रामदेव ने एलोपैथी को लेकर की गई टिप्पणियों पर देश के अलग-अलग हिस्सों में दर्ज एफआईआर को ‘क्लब’ यानी कि एक साथ करने की मांग की है। यह भी पढ़ेँः कांग्रेस में कलहः सोनिया-राहुल से मिले बिना अमरिंदर पंजाब रवाना, कल सिद्धू आ सकते हैं दिल्ली
कोरोना संकट के बीच एलोपैथी को लेकर विवादित बयान देने के बाद योग गुरु बाबा रामदेव की मुश्किल बढ़ती जा रही है। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन समेत देशभर में कई डॉक्टरों ने उनके खिलाफ शिकायत दर्ज की है।
ऐसे में देशभर में हो रही अलग-अलग शिकायतों के चलते अब रामदेव ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है।
बाबा रामदेव ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की है। उन्होंने इस याचिका में सुप्रीम कोर्ट से सभी मामलों को क्लब करना यानी एक ही जगह पर करने की मांग की है।
बाबा रामदेव ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की है। उन्होंने इस याचिका में सुप्रीम कोर्ट से सभी मामलों को क्लब करना यानी एक ही जगह पर करने की मांग की है।
संरक्षण की भी मांग
अपनी इस याचिका में बाबा रामदेव ने इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ( IMA ) की पटना और रायपुर विंग की ओर से दर्ज मुकदमों में किसी तरह की दंडात्मक कार्रवाई से संरक्षण की मांग की है।
अपनी इस याचिका में बाबा रामदेव ने इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ( IMA ) की पटना और रायपुर विंग की ओर से दर्ज मुकदमों में किसी तरह की दंडात्मक कार्रवाई से संरक्षण की मांग की है।
यह भी पढ़ेँः Video: देश में 82 दिन बाद सामने आए कोरोना के सबसे कम केस, मौत का आंकड़ों में भी बड़ राहत बता दें कि हाल में बाबा रामदेव ने देश में एलोपैथी को लेकर विवादित बयान दिया था, जिसको लेकर देशभर में डॉक्टरों ने उनका विरोध करना शुरू कर दिया था। हालांकि बाद में रामदेव ने माना इमरजेंसी उपचार में एलोपैथिक ज्यादा बेहतर है। उन्होंने कहा कि उनकी लड़ाई देश के डॉक्टरों के खिलाफ नहीं है बल्कि ड्रग माफियाओं के खिलाफ है।
रामदेव ने बयान को लेकर स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने भी कहा था कि उन्हें इस तरह के बयानों से बचना चाहिए।