कोरोना को लेकर नया खुलासा रिपोर्ट में कहा गया है कि सबसे ज्यादा लोगों में एन्सेफैलोपैथी की गंभीर स्थिति है। शिकागो के नॉर्थवेस्टर्न मेडिसिन में न्यूरो-संक्रामक रोग के प्रमुख इगोर कोरलनिक का कहना है कि लोगों में मानसिक भ्रम से लेकर कोमा तक की स्थिति शामिल हैं। लिहाजा, कोरोना के कारण तंत्रिका तंत्र को भी नुकसान पहुंच रहा है। शोध में कहा गया है कि 509 मरीजों में न्यूरोलॉजिक लक्षणों की गंभीरता दिखाई दी है। उन्होंने कहा कि कोरोना पीड़ितों में डॉक्टर्स को न्यूरोलॉजिक संकट के लक्षण की भी तलाश करनी चाहिए। हालांकि, शोधकर्ता ने अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की स्थिति पर चर्चा करने से इनकार कर दिया है। उन्होंने कहा कि जिन मरीजों में सांस संबंधी समस्याएं हैं, वह लंबे समय तक नहीं रहती है। यह रिसर्च एनल्स ऑफ क्लीनिकल एंड ट्रांसलेशनल न्यूरोलॉजी में प्रकाशित हुआ है। जिसमें कहा गया है कि कोरोना मरीजों की एक बड़ी आबादी पर न्यूरोलॉजिकल शोध पहली बार किया गया है। इनमें चीन में 36 प्रतिशत कोरोना मरीजों में न्यूरोलॉजिकल लक्षण दिखे हैं। जबकि, स्पेन में 57 फीसदी लोगों में इसके लक्षण दिखाई दिए हैं।
कोविड-19 को लेकर शोध जारी गौरतल है कि इस महामारी को लेकर अब तक कई साइड इफेक्ट के मामले सामने आ चुके हैं। कईयों में सूंघने की क्षमता भी खत्म हो गई है। हालांकि, अभी कोविड-19 को लेकर अलग-अलग शोध लगातार जारी है और हर दिन कई खुलासे हो रहे हैं।