इसरो प्रमुख के सिवन ने कहा कि अब निजी क्षेत्र की कंपनियां भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन ( ISRO ) के अंतरग्रहीय मिशन ( Interplanetary Mission ) का भी हिस्सेदार बनने का रास्ता खुल गया है। बता दें कि मोदी कैबिनेट ( Modi Cabinet ) ने ग्रहों पर खोज मिशन समेत अंतरिक्ष गतिविधियों में निजी क्षेत्र की भागीदारी को बुधवार को अनुमति दे दी।
इसरो प्रमुख ( ISRO Chief ) ने कहा कि इस निर्णय से इसरो की गतिविधियां कम नहीं होंगी। इसरो उन्नत शोध एवं विकास, अंतरग्रहीय और मानव अंतरिक्ष उड़ान मिशनों समेत अंतरिक्ष आधारित गतिविधियां पहले की तरह जारी रखेगा।
CM Trivendra Rawat : पीएम मोदी के लोकल से वोकल की अपील से डरा चीन, जानिए क्या है खास बात उन्होंने कहा कि अंतरिक्ष क्षेत्र में भारत उन्नत अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी वाले देशों में से एक है। प्राइवेट प्लेयर्स को न्यू स्पेस एरा में भागीदारी की इजाजत से भारतीय स्पेस साइंस ( Indian Space Science ) के औद्योगिक आधार मजबूती मिलेगी। सरकार ने निजी उद्यमों के लिए अंतरिक्ष क्षेत्र खोलकर इसरो के लिए सुधार उपायों को लागू करने का निर्णय लिया हैं।
स्वायत्त नोडल एजेंसी के गठन को हरी झंडी के सिवन ( K Siwan ) ने इस बात की भी जानकारी दी कि सरकार ने अंतरिक्ष क्षेत्र में निजी कंपनियों की गतिविधियों को अनुमति देने और विनियमित करने को लेकर स्वतंत्र निर्णय लेने के लिए एक स्वायत्त नोडल एजेंसी ( Independent Nodal Agency ) की स्थापना की भी मंजूरी दी है।
लद्दाख से लौटे सेना प्रमुख एमएम नरवणे, अब राजनीतिक नेतृत्व के सामने करेंगे ड्रैगन की साजिश को डिकोड स्वायत्त एजेंसी का नाम भारतीय राष्ट्रीय अंतरिक्ष, संवर्धन और प्राधिकरण केंद्र रखा गया है। यह अंतरिक्ष प्रयासों में निजी क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए एक राष्ट्रीय नोडल एजेंसी के रूप में काम करेगा। इसके लिए इसरो अपनी तकनीकी विशेषज्ञता के साथ-साथ सुविधाओं को भी साझा करेगा।
कोरोना संकट से स्पेस कार्यक्रम प्रभावित इसरो प्रमुख ने कोरोना वायरस महामारी ( Coronavirus Pandemic ) के कारण दुनिया भर में जारी लॉकडाउन की वजह से अंतरिक्ष में मानव को भेजने और चंद्रयान-3 अभियान ( Chandrayan Mission-3 ) में देर होने के अलावा इस साल लॉन्च होने वाले 10 अंतरिक्ष अभियानों के बाधित होने की बात कही है। इसरो अपने अंतरिक्ष अभियानों पर लॉकडाउन के प्रभाव का नए सिरे से आकलन करेगा।