वहीं एक व्यक्ति दूसरे देश जा चुका है और 149 लोग इस बीमारी के कारण अपनी जान गंवा चुके हैं।
वहीं, कोरोना वायरस ( Coronavirus ) से जुड़े एक अमरीकी शोध में दावा किया गया है कि जिन देशों में बीसीजी (बैसेलियस कैलमैटे-गुएरिन) वैक्सीन बड़े लेवल पर यूज की गई है, वहां अन्य देशों के मुकाबले मृत्यु दर छह गुना कम रहेगी।
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दरअसल, आर्काइव साइट मेडरिक्सिव और मेडिकल जर्नल में प्रकाशित जॉन्स हॉपकिन्स ब्लूमबर्ग स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ के विशेषज्ञों द्यारा की गई स्टडी में सामने आया है कि बीसीजी वैक्सीन टीबी (ट्यूबरकुलोसिस) के खिलाफ शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता विकसित करती है।
स्टडी के अनुसार जिन लोगों ने बीसीजी का टीका लगवाया है, उनकी रोग प्रतिरोध क्षमता अन्य लोगों के मुकाबले अधिक विकसित होती है।
ऐसे में वो अपने आप को संक्रमण से बचाने में अपेक्षाकृत ज्यादा सफल साबित होते हैं।
हालांक? कोरोना वायरस ?? को लेकर अभी स्थिति बिल्कुल स्पष्ट नहीं है, लेकिन यह साफ है कि इस वैक्सीन से इम्यून सिस्टम बेहतर तरीके से काम करता है।
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अब चूंकि बीसीजी वैक्सीन का भारत और अफ्रीकी देशों में अधिक इस्तेमाल किया गया है, इसलिए यहां पर कोरोना वायरस से मरने वालों की संख्या काफी कम रहेगी।
शोधकर्ताओं के अनुसार कि बीसीजी वैक्सीन रोग प्रतिरोधक क्षमता काफी सुधर जाएगी और यह शरीर को नुकसान पहुंचाने वाले को नष्ट कर देगी।
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