इसमें सबसे बड़ा फायदा साफ-सफाई को लेकर हुआ है। दरअसल, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ( PM Narendra Modi ) के स्वच्छ भारत अभियान ( Svachchh bhaarat abhiyaan ) के बाद कोरोना वायरस ( Coronavirus ) ने लोगों को स्वच्छ रहने और अपने आसपास सफाई रखने को मजबूर कर दिया है।
कोरोना वायरस के बाद घरों में अचानक सफाई का स्तर बढ़ गया है। इसके साथ ही कुछ भी छूने के बाद लोग अपने हाथों को अच्छे से साफ कर रहे हैं।
कितना मुसीबत भरा हो सकता है लॉकडाउन का बढ़ना, जानें लोगों के घरों में कितना स्टॉक?
लॉकडाउन में लोगों को खूब समय मिल रहा है। कोई खाली समय में अपने पसंद की किताबें पढ़ रहा हैं तो कोई रचनात्मक कार्यों में मशगूल हो गया है।
कुछ लोगों घरों में रह कर ऑफिस का काम कर रहे हैं तो उनकी प्रोडक्टिविटी बढ़ गई है। छात्र अपना पूरा समय पढ़ाई को दे रहे हैं।
ऐसे में ऑनलाइन क्लासेस का दौर भी खूब चल निकला है। वहीं, महिलाएं घर में रह कर नई-नई रेसिपी बना रही हैं। इसके साथ ही लोगों के जीवन में कुछ नकारात्मक प्रभाव भी पड़ें हैं।
जैसे घरों में खाली रहने की वजह से लोगों में तनाव पैदा हो रहा है। तनाव का एक बड़ा का कारण आर्थिक व सामाजिक चुनौतियां भी हैं।
कोरोना वायरस: लॉकडाउन से बाहर आना नहीं इतना आसान, करने होंगे ये उपाय
आपको बता दें क? कोरोना वायरस ?? के संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए केंद्र सरकार ने देश में 21 दिन का लॉकडाउन लागू किया हुआ है।
इस लॉकडाउन की अवधि 14 अप्रैल को खत्म हो रही है। ऐसे में सरकार लॉकडाउन को बढ़ाने पर विचार कर रही है। लॉकडाउन के दौरान लोगों से घरों में रहने की अपील की गई है।
हालांकि कुछ जगहों पर पुलिस प्रशासन को सख्ताई भी करनी पड़ी है। लॉकडाउन में सभी सरकार व गैर-सरकारी प्रतिष्ठानों पर ताड़ा पड़ा है। ऐसे में जाहिर ही है कि लोगों के जीवन में कुछ बदलाव दिखाई देंगे।
COVID-19: अगर मौसमी बीमारी बना कोरोना वायरस तो क्या हर साल मचेगी तबाही?
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