यह भी पढ़ेंः इस तरह रिमोट कंट्रोल से घरों में की गर्इ 30 करोड़ की बिजली चोरी एचवी आॅडिट सेल का यह होगा काम हाई वोल्टेज बड़े उपभोक्ताओं के एमआरआई आधारित बिल बनाकर आनलाइन वितरण, उपभोक्ताओं का गुणांक, डबल मीटरिंग, टेम्पर रिपोर्ट, लोड फेक्टर इत्यादि का विश्लेषण कराकर राजस्व क्षय को हाईवोल्टेज आॅडिट सेल (एचवी सेल) रोकेगी। यह सेल गंभीर प्रवृत्ति के प्रकरणों की गोपनीय जांच आैर राजस्व क्षय रोकने में मददगार साबित होगी। इस सेल द्वारा 10 किलोवाट से अधिक भार वाले उपभोक्ताओं की जांच कराकर खपत का एमआरआई द्वारा एनेलेसिस करके राजस्व हानि करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवार्इ करेगी। इसके अलावा यह सेल गलत टैरिफ, कम स्वीकृत भार एवं त्रुटिपूर्ण या कम निर्धारण वाले बिलों का आॅडिट कर बिलों में संशोधन भी कराएगी।
यह भी पढ़ेंः अगले 20 दिनों में यूपी के इन जनपदों में नहीं होगी बिजली कटौती, इसके पीछे है यह वजह एक अगस्त से काम शुरू करेगी सेल पीवीवीएनएल के एमडी आशुतोष निरंजन की अध्यक्षता में हाई वोल्टेज आॅडिट सेल (एचवी आॅडिट सेल) का गठन किया गया है। यह सेल एक अगस्त 2018 से काम शुरू कर देगी, ताकि राजस्व वसूली के बेहतर परिणाम उपलब्ध कराये जा सके। विदित है कि 25 जुलार्इ को यूपी पावर कारपाेरेशन के अध्यक्ष ने पोटेंशियल मिसिंग केसों में कार्रवार्इ नहीं होने पर कड़ी नाराजगी जतार्इ थी। सेल के गठन होने से बड़े उपभोक्ताओं की एमआरआई आधारित बिल बनाकर आनलाइन वितरण किया जायेगा। इससे लिपिकों द्वारा बड़े उपभोक्ताओं की मेनुएल बिल बनाने की प्रथा को समाप्त किया जा सकेगा। एमडी आशुतोष निरंजन ने बताया कि सेल के गठन होने से विद्युत चोरी की रोकथाम के लिये बड़े उपभोक्ताओं की एमआरआई कराकर मीटर की कुल खपत एवं लोड का तुलनात्मक अध्ययन कर विद्युत चोरी एवं राजस्व हानि को रोका जा सकेगा।