मेरठ

Sedentary lifestyle problem : मेरठ NCR में बढ़ रही सेंडेंटरी लाइफस्टाइल की समस्या, कहीं आपको तो नहीं ये परेशानी

Patrika Exclusive – Vitamin D Sedentary lifestyle problem विटामिन डी की कमी से मेरठ एनसीआर के लोगों में तेजी से सेंडेंटरी लाइफस्टाइल की समस्या बढ रही है। यह समस्या सबसे अधिक नोएडा, गाजियाबाद और मेरठवासियों की लाइफस्टाइल को प्रभावित कर रही है। इसके चलते हडडियों में कमजोरी के अलावा न्यूरोलॉजिकल समस्याओं से जूझना पड़ रहा है। वरिष्ठ चिकित्सक डा0 राहुल भार्गव का कहना है कि आने वाले दिनों में ये समस्या और अधिक गंभीर होने वाली है।

मेरठSep 06, 2022 / 10:35 am

Kamta Tripathi

Vitamin D Sedentary lifestyle problem : मेरठ सहित इन जिलों में बढ़ रही सेंडेंटरी लाइफस्टाइल की समस्या

Vitamin D Sedentary lifestyle problem शरीर को स्वस्थ रहने के लिए हर दिन आहार के माध्यम से पोषक तत्वों की जरूरत होती है। शरीर को बेहतर ढंग से काम करने में मदद करने के लिए ये पोषक तत्व विशेष भूमिका निभाते हैं। इन पोषक तत्वों में कमी गंभीर समस्याओं का शिकार बना सकती है। विटामिन.डी को शरीर के लिए अति आवश्यक माना है। इसमें होने वाली कमी के कारण हड्डियां कमजोर हो जाती हैं। यह न्यूरोलॉजिकल समस्याओं का कारण बन सकता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैंए सभी आयु के लोगों को इस विटामिन की पूर्ति पर विशेष ध्यान देना चाहिए।
डा0 राहुल भार्गव बताते हैं कि विटामिन.डी के लिए सूर्य प्रकाश को प्रमुख स्रोत माना गया है। हालांकि जिस तरह से लोगों में सेंडेंटरी लाइफस्टाइल की समस्या तेजी से बढ़ी है और लोगों का सूर्य से संपर्क कम हो रहा है ऐसे में अधिकांश लोग विटामिन.डी की कमी का शिकार हो रहे है। विटामिन की कमी से प्रतिरक्षा प्रणाली और हड्डियों में कमजोरी के साथ मस्तिष्क संबंधित समस्याओं के जोखिम को बढ़ा सकती है। अध्ययन में पाया है कि मस्तिष्क को स्वस्थ रखने के लिए पोषक तत्वों की जरूरत होती है। विटामिन.डी उनमें एक है। यह मस्तिष्क की कोशिकाओं को स्वस्थ बनाने के साथ ही कार्य करने की क्षमता को बढ़ावा देता है। उन्होंने बताया कि ऐसे में जिन लोगों में विटामिन-डी कम होता है। उनमें न्यूरोलॉजिकल रोगों और न्यूरोसाइकोलॉजिकल विकारों के खतरे होते हैं। ऐसे लोगों के मस्तिष्क का कामकाज प्रभावित हो जाता है।
यह भी पढ़ें

Today Petrol Diesel Rate : वाहन में आज तेल डलवाने से पहले जान ले क्या है पेट्रोल-डीजल का भाव

डा0 राहुल भार्गव ने बताया कि अध्ययनों ने विटामिन-डी की कमी को डिप्रेशन से जोड़ा है । 2017 के एक अध्ययन में पाया गया कि विटामिन-डी सप्लीमेंट, टाइप-2 डायबिटीज वाले रोगियों के मूड में सुधार करने में सहायक होता है। न्यूरोस्टेरॉइड के रूप में विटामिन.डी कार्य की पुष्टि की है। जो मस्तिष्क के सामान्य कामकाज के लिए जरूरी है। शोधकर्ताओं का मानना है कि इस विटामिन का निम्न स्तर मल्टीपल स्केलेरोसिसए अल्जाइमरए पार्किंसंस रोग और तंत्रिका संबंधी विकारों के खतरे को बढ़ाता है। सभी आयु वर्ग वाले लोगों को नियमित सेवन पर विशेष ध्यान देना चाहिए।

Hindi News / Meerut / Sedentary lifestyle problem : मेरठ NCR में बढ़ रही सेंडेंटरी लाइफस्टाइल की समस्या, कहीं आपको तो नहीं ये परेशानी

Copyright © 2025 Patrika Group. All Rights Reserved.