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खेकड़ा कस्बे के चर्चित 10 साल की छात्रा हत्याकांड में भले की पुलिस ने खुलासा कर दिया हो और आरोपी की मौत को आत्महत्या बताया जा रहा हो, लेकिन पीड़ित बच्ची के परिजन पुलिस की कहानी से अब भी सन्तुष्ट नहीं हैं। उनका मानना है कि इस साजिश में आरोपी के साथ और भी लोग थे। इन लोगों का आरोप है कि आरोपी ने आत्महत्या नहीं की है, बल्कि अन्य लोगों को बचाने के लिए उसको मौत के घाट उतारा गया है। मामले में खेकड़ा पुलिस की भूमिका को भी लोग सन्दिग्द निगाह से देख रहे हैं। लोगों का कहना है कि आरोपी के आत्महत्या की जांच होनी चाहिये। वहीं, खेकड़ा में अब भी बच्ची के साथ हुई घटना से लोगों में गुस्सा है। इसी सिलसिले में सोमवार को काफी संख्या में लोग घटना स्थल वाली बिल्डिंग के पास पहुंचे। इस दौरान गुस्साए लोगों ने बिल्डिंग पर लगा तिरंगा उतार दिया। झंडा उतारने वाले युवकों का कहना था कि इस बिल्डिंग पर तिरंगा लगाना राष्ट्रध्वज का अपमान है। लिहाजा, जिस बिल्डिंग में बालिका के साथ पाप हुआ था, उस पर लगे राष्ट्रध्वज को युवक मंच के कार्यकर्ताओं ने उतार दिया। युवा कार्यकर्ताओं का कहना था कि जिस बिल्डिंग में ऐसा घिनौना काम हुआ है, वहां राष्ट्र ध्वज नहीं रह सकता। कार्यकर्ताओं में अनुज कौशिक, शिकेन्द्र धामा, सुधीर धामा, अजय शर्मा, राजेन्द्र यादव मनोज धामा, प्रदीप, विक्की आदि मौजूद रहे।