यह भी पढ़ेंः यूपी पुलिस भर्ती के दौरान युवक ने अपनाया ऐसा हथकंडा कि पुलिस अफसर भी रह गए दंग यह भी पढ़ेंः डायबिटीज से पीड़ित हैं तो भोजन में इसे करें शामिल, जड़ से खत्म हो जाएगी यह बीमारी साम्प्रदायिक बवाल बाद उठाया यह कदम मेरठ शहर से सटे लिसाड़ी के जाॅनी व उसके भाई आकाश की गांव में ही मिठाई की दुकान है। 21 जून को दोनों अपने नौकर अतुल व नारायण के साथ दुकान पर मौजूद थे। उनका आरोप है कि गांव के चांद व खालिद की बाइक उनकी भट्ठी से टकरा गर्इ तो उन्होंने भट्टी पर लात मार दी थी। उस समय तो वे वहां से भगा दिए गए, लेकिन कुछ देर के बाद उन्होंने अपने साथियों के साथ दुकान पर पहुंचकर तोड़फोड़ की और 40 हजार रुपये लूट लिए। मामले में जाॅनी ने चांद, सरफराज, ईदरीश, शमी, गांधी, समीर, खालिद व कई अज्ञात के विरुद्ध एफआर्इआर दर्ज करार्इ। इनमें चांद व गांधी जेल भेजे जा चुके हैं। मुस्लिम समाज के करीब 20 परिवारों ने अपने-अपने मकानों पर बैनर-पोस्टर लगा दिए हैं। हाजी नूर सैफी, हाजी गुल मोहम्मद, रईसुद्दीन, हनीफ, शईदुद्दीन, अलाउद्दीन, जान मोहम्मद व नौशाद आदि ने कहा कि गांव में जरा-जरा से विवाद को लेकर सांप्रदायिक रंग दिया जाता है। पुलिस भी एकतरफा कार्रवाई कर रही है। उनकी तहरीर भी नहीं ली गई है। अब वह गांव में नहीं रहेंगे। मकान बेचकर यहां से चले जाएंगे। पुलिस-प्रशासन को मामले की भनक लगी तो हड़कंप मच गया।
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एसएसपी राजेश कुमार पांडे का कहना है कि यह दो समुदाय के बीच विवाद है। इसमें गलती करने वालों के खिलाफ कार्रवार्इ की गर्इ है। पलायन जैसी कोर्इ बात नहीं है, बल्कि पुलिस की कार्रवार्इ से बचने के लिए अपने घर छोड़ रहे हैं। यह पुलिस पर दबाव बनाने के लिए एेसा किया जा रहा है।
एसएसपी राजेश कुमार पांडे का कहना है कि यह दो समुदाय के बीच विवाद है। इसमें गलती करने वालों के खिलाफ कार्रवार्इ की गर्इ है। पलायन जैसी कोर्इ बात नहीं है, बल्कि पुलिस की कार्रवार्इ से बचने के लिए अपने घर छोड़ रहे हैं। यह पुलिस पर दबाव बनाने के लिए एेसा किया जा रहा है।