बता दें कि कुलपति आफिस में कुलपति सहित तमाम अधिकारी बैठते हैं लेकिन कोई भी अधिकारी कुलपति की ओर से छात्रों से बातचीत करने नहीं पहुंचा और न उनके धरने का कारण जानने पहुंचा। बीएससी में एक साथ अधिकतर छात्रों को फेल किए जाने के मामले में विश्वविद्यालय ने अपना डाटा निकालकर यह जानने की कोशिश नहीं की है कि कितने छात्र वाकई में फेल हुए हैं।
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सीसीएसयू नियमावली में किसी एक कक्षा के 75 फीसद छात्र फेल होने पर ही निःशुल्क मूल्यांकन दोबारा किया जाता है। पुनर्मूल्यांकन के लिए छात्रों को 3300 रुपये प्रति विषय कोड खर्च करने पड़ते हैं। 3000 रुपये मूल्यांकन शुल्क और 300 रुपये अनिवार्य रूप से छात्रों को आरटीआई में प्रति विषय कोड कॉपी लेकर देखना पड़ता है। आरटीआई में कॉपी देखे बिना कोई छात्र सीधे पुनर्मूल्यांकन के लिए आवेदन नहीं कर सकता है। छात्रों में इस बात की भी नाराजगी है कि बीएससी छात्रों को फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी में शून्य, एक, दो, पांच, सात नंबर मिले हैं।