यह भी पढें: इस सपा नेता ने कहा, अटल जी ने उनके लिए कराया था दोबारा शपथ ग्रहण समारोह उत्तर प्रदेश से रहा है लगाव पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का उत्तर प्रदेश से बहुत अधिक लगाव था। उनके निधन के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घोषणा की थी कि अटल जी की अस्थियों को प्रदेश के सभी प्रमुख शहरों की नदियों में प्रवाहित कराया जाएगा। इसमें पश्चिमी उत्तर प्रदेश के जिलों की प्रमुख नदियां भी शामिल हैं। मेरठ, गाजियाबाद, सहारनपुर, बागपत, बुलंदशहर, मुरादाबाद, बिजनौर और मुजफ्फरनगर जिले के अंतगर्त आने वाली प्रमुख नदियों में उनकी अस्थियों को प्रवाहित किया जाएगा। फिलहाल पूर्व प्रधानमंत्री के पार्थिव शरीर को उनके दिल्ली सरकारी निवास 6 कृष्णा मेनन मार्ग पर रखा गया है, जहां नेताओं और अन्य लोगों का तांता लगा हुआ है।
यह भी पढें: इस ज्योतिष ने 9 साल पहले बता दिया था, कब होगी अटल बिहारी वाजपेयी की मृत्यु राज्य के कई शहरों की नदियों में होंगी प्रवाहित पश्िचमी उत्तर प्रदेश भाजपा के प्रवक्ता आलोक सिसोदिया का कहना है कि अटल बिहारी वाजपेयी उत्तर प्रदेश काे अपनी कर्मभूमि मानते थे। इस लिए राज्य के प्रमुख शहराें की नदियों में उनकी अस्थियाें को प्रवाहित किया जाएगा। इसके साथ ही देश में जिन शहराें सें अटल जी का नाता रहा है, वहां भी उनकी अस्थियों को प्रवाहित कराया जाएगा।
देखें वीडियो: पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी को श्रद्धांजलि यूपी रही है कर्मभूमि यूपी से अटल बिहारी वाजपेयी का गहरा रिश्ता रहा है। इसी राज्य को उनकी कर्मभूमि कहा जाता है। वह लखनऊ से सांसद रहे। भाजपा को सत्ता तक पहुंचाने में उनका बहुत बड़ा योगदान है। एक सांसद से राजनीतिक शुरुआत करने वाली भाजपा को 300 का आंकड़ा पार कराने वाले अटल बिहारी वाजपेयी के योगदान को नकारा नहीं सकता है।
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