ठाकुर देवकीनंदन ने बैठक के बारे में पत्रकारों से कहा, “हमें एकजुट होकर अपने धार्मिक और सांस्कृतिक मूल्यों की रक्षा करनी चाहिए। कृष्ण जन्मभूमि, सनातन बोर्ड का निर्माण, और तिरुपति बालाजी मंदिर में प्रसादम में जानवरों की चर्बी मिलाने की घटनाओं को लेकर हमें सख्त कदम उठाने की जरूरत है।”
‘कृष्ण जन्मभूमि को सुरक्षित रखना हमारी जिम्मेदारी’
मथुरा की बैठक में उन्होंने कहा, “कृष्ण जन्मभूमि हमारे लिए एक पवित्र स्थल है। इसे सुरक्षित रखना हमारी जिम्मेदारी है। इस संदर्भ में हमें एकजुट होकर अपनी आवाज उठानी होगी। हम सभी को मिलकर यह सुनिश्चित करना चाहिए कि इस भूमि की पवित्रता को बनाए रखा जाए।” उन्होंने कहा, “सनातन धर्म के संरक्षण और संवर्धन के लिए एक स्थायी बोर्ड का निर्माण आवश्यक है। यह बोर्ड हमारी संस्कृति, परंपराओं और धार्मिक मूल्यों की रक्षा करेगा। हमें एकजुट होकर सरकार से मांग करनी चाहिए कि वह इस दिशा में ठोस कदम उठाए।”
यह भी पढ़ें
सरकार का बड़ी घोषणा, टीबी मरीजों को हर महीने मिलेंगे 1000 रुपए
‘तिरुपति बालाजी मंदिर की घटना धार्मिक विश्वासों के खिलाफ’
उन्होंने आगे कहा, “तिरुपति बालाजी मंदिर की घटना ने हमें चिंतित किया है। यह न केवल हमारे धार्मिक विश्वासों के खिलाफ है, बल्कि हमारे समाज के नैतिक मूल्यों पर भी प्रश्न उठाती है। ऐसे मामलों में सख्त कार्रवाई होनी चाहिए ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हों।” यह भी पढ़ें