यह निर्णय कैबिनेट बाई सर्कुलेशन किया गया है। वित्तीय वर्ष पूरा होने के बाद स्टॉक में रहने वाली शराब के निस्तारण के लिए नियमावली बनाई गई है। इसके अलावा पहले श्रेणी एक के तहत 1.5 प्रतिशत तक वेस्टेज निर्धारित था, उसे घटाकर 0.5 प्रतिशत कर दिया गया है। वहीं श्रेणी दो में 2 प्रतिशत निर्धारित वेस्टेज को 1 प्रतिशत कर दिया गया है। अधिकारियों का कहना है कि यह निर्धारण काफी पुराना था। उसके बाद से कई नई तकनीक आ गई हैं, जिसके कारण वेस्टेज निर्धारण में परिवर्तन किया गया है। वेस्टेज की मात्रा अधिक होने पर जुर्माने का निर्धारण ड्यूटी फीस के आधार पर तय होगा।