लखनऊ

10 दिन में आधे से ज्यादा घट गई संक्रमण की दर, लोगों को मिलेगी राहत

– आइआइटी कानपुर (Kanpur IIT) का दावा – 20 मई से घटना शुरू हो जाएगा प्रकोप

लखनऊMay 04, 2021 / 03:29 pm

Neeraj Patel

UP Corona update Infection rate decreased by more than half in 10 days

लखनऊ. उत्तर प्रदेश में कोरोना संक्रमण (Corona Virus) की दूसरी लहर अभी भी अपनी संक्रमण की रफ्तार बनाए हुए है। जिससे देश के ज्यादातर राज्यों में लोगों का बुरा हाल है। हालांकि इस बीच यूपी से एक आशा की किरण दिखाई दे रही है। यूपी की योगी सरकार (Yogi Sarkar) का कहना है कि प्रदेश में पिछले 10 दिनों में लगतार टेस्टिंग में इजाफा किया गया। इस दौरान संक्रमण की दर आधे से भी ज्यादा घट गई है। 24 अप्रैल को प्रदेश में 1,86,000 टेस्ट हुए तो 38 हजार लोग कोरोना संक्रमित पाए गए थे जबकि दस दिन बाद जब 2 लाख 97 हजार टेस्ट हुए तो संक्रमितों की संख्या घटकर 30 हजार रह गई। प्रदेश में कोरोना की टेंस्टिंग तो बढ़ रही है लेकिन संक्रमण दर घटती जा रही है। कोविड जांच के अनुपात में संक्रमण जो पहले 22 प्रतिशत था, पिछले दस दिन में संक्रमण आधे से ज्यादा घटकर 10 प्रतिशत रह गया है। वहीं कानपुर आईआईटी (Kanpur IIT) के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं पद्मश्री प्रो. मणींद्र अग्रवाल ने दावा किया है कि 20 मई के बाद कोरोना से राहत मिलने की उम्मीद है।

यूपी सरकार ने कोरोना के मद्देनजर सरकार सप्ताहांत पर लगाए गए कोरोना कर्फ्यू की अवधि सोमवार को दो और दिनों के लिए बढ़ा दी है। सूचना विभाग के अपर मुख्य सचिव नवनीत सहगल ने को बताया कि सरकार ने पिछले शुक्रवार रात आठ बजे से मंगलवार सुबह सात बजे तक लागू किए गए कोरोना कर्फ्यू को सोमवार को दो और दिनों के लिए बढ़ा दिया है। अब यह कर्फ्यू छह मई सुबह सात बजे तक लागू रहेगा। उन्होंने बताया कि फिलहाल यह व्यवस्था इसी हफ्ते के लिए की गई है। राज्य सरकार ने फैसला प्रदेश में कोरोना संक्रमण की श्रंखला को तोड़ने के अपने प्रयासों के तहत लिया है।

आइआइटी के वरिष्ठ वैज्ञानिक का दावा

कोरोना की दूसरी लहर के प्रकोप से प्रदेश में संक्रमण चरम पर पहुंच चुका है। मगर अब कानपुर में कोरोना की दूसरी लहर से लोगों को राहत मिलने का समय आ गया है। अब धीरे-धीरे संक्रमण में गिरावट आएगी। आईआईटी के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं पद्मश्री प्रो. मणींद्र अग्रवाल ने दावा किया है कि 20 मई के बाद कोरोना से राहत मिलने की उम्मीद है। काफी शोध करने के बाद उन्होंने कंप्यूटिंग मॉडल सूत्र तैयार किया है, जिसमें गणितीय विश्लेषण के आधार पर यह दावा किया है। उन्होंने कानपुर सहित लखनऊ, प्रयागराज व वाराणसी सहित अन्य शहरों का विश्लेषण भी किया है। इस मॉडल के मुताबिक लखनऊ, प्रयागराज और वाराणसी शहरों में भी कोरोना का पीक आ चुका है, अब काफी गिरावट आएगी।

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मॉडल के अनुसार हर राज्य की स्थिति अलग

प्रो. मणींद्र अग्रवाल के कंप्यूटिंग मॉडल के अनुरूप अभी तक मरीजों की संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा था और मौतें भी अधिक हो रही थी। उन्होंने कई राज्यों के डाटा के आधार पर यह मॉडल तैयार किया है। इस मॉडल के मुताबिक हर राज्य की स्थिति अलग है। उन्होंने पिछले साल के केस और कोरोना की दूसरी लहर के आंकड़े लेकर मॉडल तैयार किया है। मॉडल के अनुसार कानपुर में 28 अप्रैल तक पीक आना था, इसके बाद गिरावट दर्ज होनी थी। वर्तमान आंकड़ों के मुताबिक 30 अप्रैल तक सबसे अधिक केस रहे, इसके बाद से लगातार केसों में गिरावट आ रही है। विश्लेषणात्मक रिपोर्ट और एक्चुअल रिपोर्ट में एक-दो दिन का फर्क बेहद मामूली होता है। हालांकि अभी कई राज्यों में कोरोना संक्रमण का पीक आना बाकी है।

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