– कोरोना प्रोटोकॉल के तहत ऑफलाइन कक्षाएं चलेगी, मतलब समस्त विद्यालयों में बच्चे स्वयं पहुंचेंगे।
– बच्चों की ऑलटरनेटिव क्लासेस चलेंगी। मतलब पहले दिन 50 फीसद बच्चों को बुलाया जाएगा‚ फिर अगले दिन शेष बचे 50 फीसद बच्चों को बुलाया जाएगा।
– जिन स्कूलों में बच्चों की संख्या ज्यादा है‚ वहां दो पालियों में कक्षाएं चलेंगी। खेलकूद बिल्कुल नहीं होंगे‚ न ही किसी प्रकार के आयोजन होंगे, हालांकि परिषदीय स्कूलों में खेलकूद को छूट प्रदान की गई है।
– बच्चों की ऑलटरनेटिव क्लासेस चलेंगी। मतलब पहले दिन 50 फीसद बच्चों को बुलाया जाएगा‚ फिर अगले दिन शेष बचे 50 फीसद बच्चों को बुलाया जाएगा।
– जिन स्कूलों में बच्चों की संख्या ज्यादा है‚ वहां दो पालियों में कक्षाएं चलेंगी। खेलकूद बिल्कुल नहीं होंगे‚ न ही किसी प्रकार के आयोजन होंगे, हालांकि परिषदीय स्कूलों में खेलकूद को छूट प्रदान की गई है।
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– स्कूल में दाखिल होने से पहले बच्चों की बाहर गेट पर ही थर्मल स्क्रीनिंग होगी।
– विद्यालय व उसके आस–पास स्वास्थ्य कर्मी‚ नर्स व डाक्टर की व्यवस्था होनी अनिवार्य है।
– स्कूल में क्लासरूम, शौचालय‚ दरवाजे‚ कुंड़ी‚ सीट आदि भी निरन्तर सैनिटाइज होंगी
– बच्चों के लिए पीने का साफ पानी उपलब्ध कराना होगा।
– स्कूल में दाखिल होने से पहले बच्चों की बाहर गेट पर ही थर्मल स्क्रीनिंग होगी।
– विद्यालय व उसके आस–पास स्वास्थ्य कर्मी‚ नर्स व डाक्टर की व्यवस्था होनी अनिवार्य है।
– स्कूल में क्लासरूम, शौचालय‚ दरवाजे‚ कुंड़ी‚ सीट आदि भी निरन्तर सैनिटाइज होंगी
– बच्चों के लिए पीने का साफ पानी उपलब्ध कराना होगा।
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– विद्यालयों में शिक्षकों व छात्रों की नियमित जांच होगी, इसमें यदि कोई करोना संदिग्ध हो तो उसे तत्काल आइसोलेट करना होगा।
– बाहरी वेंडरों को स्कूलों के अन्दर खाद्य सामग्री बेचने की इजाजत नहीं होगी।
– विद्यालयों में शिक्षकों व छात्रों की नियमित जांच होगी, इसमें यदि कोई करोना संदिग्ध हो तो उसे तत्काल आइसोलेट करना होगा।
– बाहरी वेंडरों को स्कूलों के अन्दर खाद्य सामग्री बेचने की इजाजत नहीं होगी।
– नए एडमिशन प्रोसेस के लिए केवल अभिभावक स्कूल आएंगे। बच्चों नहीं आएंगे। – बच्चों के लिए चलने वाले रिक्शे‚ बसें आदि संसाधन के नियमित रूप से सैनिटाइज करना होगा।