स्वामी मौर्य ने कहा, “शूद्र-जाति को पढ़ने का अधिकार अंग्रेजों के जमाने में मिला। श्रीरामचरितमानस में जातिवाद घोलने का काम किया है। श्रीरामचरितमानस से विवादित अंश को तुरंत हटा देना चाहिए।” स्वामी प्रसाद मौर्य का विवादित बयान कोई पहली बार नहीं है। इससे पहले उन्होंने कहा था मोहन भागवत में साहस है तो वह जातिवाद का जहर घोलने वाली पुस्तक ‘मनुस्मृति’ पर प्रतिबंध लगवाएं।
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गिरिराज सिंह बोले- सतानन धर्म को गाली देना बन गया है फैशनकेन्द्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने स्वामी प्रसाद मौर्य के बयान पर पलटवार किया। उन्होंने कहा, “सतानन धर्म को गाली देना फैशन बन गया है। मुस्लिम धर्मगुरुओं को कोई कुछ नहीं कह सकता है। दूसरे धर्म को कुछ कहने से सिर तन से जुदा हो जाता है। जब तक सनातन धर्म है, तभी तक देश में लोकतंत्र है।”