कलश स्थापना शुभ मुहूर्त उन्होंने कहा कि सूर्योदय से 10 घंटे यानि 4 घंटे की अवधि सुबह मानी गई है। साथ ही, चित्रा नक्षत्र और वैधृति योग को में स्थापना नहीं करनी चाहिए । 22 मार्च दिन बुधवार को चैत्र शुक्ल प्रतिपदा उदय व्यापिनी है, अतः इसी दिन सुबह ही घट-स्थापना होगी। इस दिन वैधृति योग और चित्रा नक्षत्र नहीं है। इसलिए बसन्त नवरात्र के दिन पूजा और घट स्थापना सुबह 5 बजे से 9 बजे अंदर ही करनी चाहिए।
मीन और मिथुन लग्न में करें कलश स्थापना इसमें द्विस्वभाव लग्न को वरीयता दी जाती है। इस प्रकार मीन और मिथुन लग्न में कलश स्थापना करना बहुत ही सही रहता है। चूँकि घट स्थापना बुधवार को की जा रही है, इसलिए कलश स्थापना में अभिजीत मुहूर्त का प्रयोग नहीं जाएगा। पंडित शुक्ला ने कहा कि अगर देवी की स्तुति सुबह की जाए वह बहुत ही ज्यादा फलदायी होती है।