राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद आज सुबह 11:30 बजे लोकभवन में आम्बेडकर की मूर्ति का शिलान्यास करेंगे। इसके बाद राजभवन वापस आ जाएंगे। यहां से चार बजे लखनऊ एयरपोर्ट के लिए प्रस्थान करेंगे जहां से वह दिल्ली के लिए रवाना होंगे। राष्ट्रपति राजभवन में बने चार कमरों के सुइट में विश्राम करेंगे। इस सुइट में बेड रुम के अतिरिक्त जिम, कॉन्फ्रेंस हाल और डाइनिंग हॉल है। आधुनिक संसाधनों के साथ पाश्चात्य सभ्यता का संगम इस सुइट में दिखेगा। इसमें यूपी के विभिन्न जिलों की कारीगरी का नमूना, प्राचीन मूर्तियां और पेंटिंग शामिल हैं।
इस सुइट के सामने दूसरे सुइट में आपात कक्ष बनाया गया है। इसमें राष्ट्रपति भवन की तर्ज पर विशेष कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है। यहां हाई स्पीड इंटरनेट, सेटेलाइट फोन और हॉटलाइन के साथ अन्य अत्याधुनिक तकनीक पर आधारित सुरक्षा व्यवस्था की गई है। राष्ट्रपति जिस सुइट में रुकेंगे वहां उनकी गरिमा के अनुरूप पांच सितारा होटल जैसी बेहतर व्यवस्था की गई है। संबंधित क्षेत्र को 48 घंटे पूर्व से ही राष्ट्रपति के आने तक नो मेन जोन घोषित करते हुए राष्ट्रपति की सुरक्षा में लगे जवानों के सुपुर्द कर दिया गया है।
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सर्किट हाउस में पौधा रोपकर यादगार बनाया कानपुर आगमन
लखनऊ जाने से पहले राष्ट्रपति और उनकी बेटी ने सर्किट हाउस में पौधा रोपकर कानपुर आगमन को यादगार बनाया। दिल्ली से प्रेसिडेंशियल ट्रेन से कानपुर तीन दिवसीय दौरे पर आए राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने रात्रि प्रवास के बाद दूसरे दिन शहर में खास लोगों से मुलाकात की थी। इसमें शहर के प्रमुख उद्यमी, शिक्षाविद्, इष्ट मित्र और परिचित लोग शामिल थे। अगले दिन उनका कार्यक्रम जन्मस्थली परौंख ग्राम और कर्मस्थली पुखरायां क्षेत्र में तय था। तय कार्यक्रम के तहत रविवार को उन्होंने परौंख गांव में पथरी देवी मंदिर में पूजन करके भ्रमण किया। इसके साथ गांव वासियों पर अपना प्यार लुटाया। यहां से पुखरायां पहुंचकर उन्होंने अपने पुराने मित्रों से मुलाकात की और सभा में पुखरायां को सार्वजनिक जिंदगी की शुरुआत करने वाला स्थान बताकर लोगों का आभार व्यक्त किया था।