महोबा में कंसलटेंट एजेन्सी यूआरएस के साथ टीम ने भौतिक मुआयना भी पूरा कर लिया है। जल्द ही लोगों को राहत मिलेगी। एनएचएआई छतरपुर प्रोजेक्ट डायरेक्टर पुरुषोत्तम लाल ने बताया कि कबरई से भोपाल के बीच जमीन अधिग्रहण का गजट हो गया है। कबरई में बाईपास के सहारे कानपुर के हाईवे को जोड़ा जाएगा। इसी महीने सभी सेक्टर के निर्माण के लिए टेंडर कर दिया जाएगा। तीन साल में इसका निर्माण पूरा करने का लक्ष्य है।
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विधान परिषद के नेता सदन बने डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या, स्वतंत्रदेव का इस्तीफा ऐसे होगी कनेक्टिविटी लखनऊ से कानपुर फोरलेन हाईवे और एक्सप्रेसवे से रास्ता मिलेगा। नौबस्ता कानपुर से कबरई तक 124 किलोमीटर हाईवे बनेगा। कबरई में ही बाईपास बनाया जाएगा और वाहनों को कस्बे से बाहर का रास्ता मिलेगा। कबरई से सागर 245 किलोमीटर का नया फोरलेन होगा। फिर सागर से भोपाल के लिए 150 किलोमीटर का फोरलेन हाईवे मिलेगा। कबरई से सागर 5 तो सागर से भोपाल तक 3 सेक्टर में फोरलेन हाईवे होगा। वाहन एनएच-34 के रूप में ही फर्राटा भर सकेंगे।
बनेगा नया ग्रीन फील्ड हाईवे इसका प्रोजेक्ट एनएचएआई मुख्यालय से पास कर दिया लेकिन इसका निर्माण 2025 से शुरू किया जाएगा। मौजूदा नौबस्ता-कबरई हाईवे पर वाहनों का लोड काफी है, इसलिए एनएचएआई ने इसी के समानांतर अब रमईपुर से कबरई तक नया ग्रीन फील्ड फोरलेन हाईवे का बनेगा। एनएचएआई ने ग्रीनफील्ड हाईवे और कबरई से सागर हाईवे को आर्थिक गलियारे के रूप में विकसित करने का फैसला किया है।