उत्तराखंड के नैनीताल में हुआ था एनडी तिवारी का जन्म
शुरुआती जीवन की बात करें तो एनडी तिवारी का जन्म 18 अक्टूबर 1925 को नैनीताल में हुआ था। उच्च शिक्षा इलाहाबाद में हुई थी। यहीं से छात्र संघ की राजनीति के साथ उनके राजनीतिक करियर की शुरुआत भी हुई थी। 1968 में उज्जवला शर्मा के साथ मुलाकात के समय तिवारी युवा कांग्रेस के अध्यक्ष थे। उज्जवला के पिता भी तब केंद्रीय सरकार में मंत्री थे। यह भी पढ़ें
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उज्जवला का दांपत्य जीवन बहुत अच्छा नहीं था। वह अपने पति बीएम शर्मा से अलग हो चुकी थीं। दंपति को एक बेटा सिद्धार्थ भी था। दिल्ली में एनडी तिवारी और उज्जवला की मुलाकात हुई थी। उज्जवला के अनुसार, परिचय बढ़ने के साथ-साथ एनडी तिवारी की ओर से प्रेम प्रस्ताव आया था। यह प्रेम संबंध बहुत आगे बढ़ गए थे।प्रणय निवेदन, प्रेम संबंध, अतरंगता बनी जीवन की सुर्खियां
प्रणय निवेदन, प्रेम संबंध, अतरंगता….यह सब एनडी तिवारी के जीवन का एक और पहलू बन गया था। जब उज्जवला ने सार्वजनिक तौर पर यह कहा था कि उनका और एनडी तिवारी का एक बेटा भी है, उससे ठीक पहले रंगीन मिजाजी की एक और घटना एनडी तिवारी को भारी पड़ चुकी थी। तब साल 2009 में जब वह आंध्र प्रदेश के राज्यपाल थे, तब एक कथित सीडी सामने आई थी, जिसमें वह तीन महिलाओं के साथ दिख रहे थे। मामला रंगीन मिजाजी का ही था। जब सीडी वायरल हुई तो उनको राज्यपाल पद से इस्तीफा देना पड़ा।उम्र के अंतिम पड़ाव पर रोहित को माना बेटा
दूसरी ओर, उज्जवला और रोहित के साथ भी एनडी तिवारी कोर्ट की लड़ाई हार चुके थे। रोहित ही एनडी तिवारी के जैविक पुत्र साबित हुए थे। उम्र के इस पड़ाव पर आखिरकार एनडी तिवारी ने रोहित और उनकी मां को स्वीकार किया। 88 साल की उम्र में उन्होंने उज्जवला शर्मा से शादी की और इस रिश्ते को मान्यता दी। इस शादी के पांच साल बाद अपने ही जन्म के दिन 18 अक्टूबर को साल 2018 में नई दिल्ली में एनडी तिवारी ने दुनिया को अलविदा कह दिया था। उज्जवला मरते दम तक उनकी पत्नी रहीं। यह भी पढ़ें