विधायक निधि की राशि बढ़ी
उत्तर प्रदेश के विधानसभा और विधान परिषद सदस्यों को अपने क्षेत्र के विकास के लिए मिलने वाली विधायक निधि में योगी सरकार ने पचास लाख रुपए सालाना की वृद्धि की है। अब प्रदेश में विधायक निधि की राशि बढकऱ दो करोड़ रुपए से ज्यादा हो गयी है। यह राशि एक साल के लिए होगी। इस तरह अपने पांच साल के कार्यकाल में एक विधायक अपने क्षेत्र में 10 करोड़ से अधिक की राशि खर्च कर सकेगा। अभी तक विधायकों और विधान परिषद सदस्यों को 1.5 करोड़ रुपये सालाना विधायक निधि मिलती थी। इसके अलावा योगी सरकार ने जीएसटी के भुगतान के 40 लाख रुपये की अलग व्यवस्था की है। इस तरह एक विधायक अब सालाना 2.4 करोड़ रुपए का काम करा सकेगा।
यूपी में महापौर के बढ़े अधिकार
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उप्र के 16 मेयरों के भी अधिकार बढ़ा दिए हैं। इसी के साथ मेयर के कामों में मंडलायुक्त व डीएम के हस्तक्षेप को कम कर दिया गया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने महापौरों को अवस्थापना निधि और केंद्रीय वित्त आयोग के बजट से होने वाले कार्यों की मंजूरी के लिए बनी समिति का अध्यक्ष महापौर को बना दिया है। अब तक यह अधिकार मंडलायुक्तों के पास था। इस तरह अब किसी भी शहर का महापौर कम से एक करोड़ का कार्य तो करवा ही सकता है। सांसदों,विधायकों की ही तरह मेयर निधि को मेयर नगर निगम की सीमा के भीतर विकास कार्यो के लिए खर्च कर सकते हैं। लखनऊ जैसी बड़े शहर में महापौर निधि 10 करोड़ की है। यूपी के मेयर को यह राशि नगर आयुक्त की खर्च सीमा को हटाकर दी गयी है। पहले यह राशि नगर आयुक्तों के खाते में आती थी। मेयर निधि की राशि को नगर निगम कार्यकारिणी की बैठक में अनुमोदन के बाद खर्च किया जा सकता है।
पार्षद निधि
सांसदों और विधायकों की ही तरह नगर निगम के पार्षदों की भी पार्षद निधि होती है। इस राशि से वह अपने वार्ड में विकास कार्य को करवा सकते हैं। इससे सडक़, खडज़ा, नाली,सीवर और मार्ग प्रकाश जैसे छोट-छोट कार्यो को कर सकते हैं। राजधानी लखनऊ में प्रत्येक वार्ड पार्षद को कम से कम 95 लाख रुपए सालाना मिलते हैं। इसके अलावा सरकार हर वॉर्ड में 35 लाख रुपए के काम अलग से करवाती है। यह काम भी पार्षद की संस्तुति पर किए जाते हैं। गोरखपुर जैसे शहर में भी पार्षद निधि 16 से 21 लाख वार्षिक है। प्रत्येक नगर पालिका की कमाई के हिसाब से यह पार्षद निधि तय होती है। इसलिए हर शहर में यह अलग-अलग होती है।
कितनी है जनप्रतिनिधियों को मिलने वाली निधि
सांसद निधि- 5 करोड़
विधायक निधि-2.40 करोड़
मेयर निधि-10 करोड़
पार्षद निधि-95 लाख