लारी कार्डियोलॉजी वायरल वीडियो: वेंटिलेटर न मिलने पर मरीज की मौत, डिप्टी सीएम ने दिए कड़े निर्देश
लारी कार्डियोलॉजी में वेंटिलेटर की कमी के कारण एक मरीज की मौत के वायरल वीडियो ने बड़े विवाद को जन्म दिया है। इस घटना के बाद उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने मामले का संज्ञान लेते हुए कड़ी कार्रवाई की घोषणा की है। उन्होंने केजीएमयू के कुलपति को खुद मामले की जांच करने के आदेश दिए हैं और चार दिनों के भीतर रिपोर्ट पेश करने को कहा है। पाठक ने दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश भी दिए हैं, ताकि स्वास्थ्य सेवाओं में ऐसी लापरवाही पर रोक लगाई जा सके।
लखनऊ के लारी कार्डियोलॉजी विभाग से जुड़ा एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें वेंटिलेटर न मिलने के कारण एक मरीज की मौत का मामला सामने आया है। इस घटना ने स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। मामले पर उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने सख्त रुख अपनाते हुए किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) के कुलपति को व्यक्तिगत रूप से जांच के निर्देश दिए हैं। डिप्टी सीएम ने चार दिन में कार्रवाई की रिपोर्ट मांगी है और दोषियों पर कठोर कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
मामले का संज्ञान
सोशल मीडिया पर वायरल हुए वीडियो में लारी कार्डियोलॉजी विभाग में वेंटिलेटर की अनुपलब्धता के चलते एक मरीज की मौत का दावा किया गया है। यह मामला न केवल मरीज के परिजनों की पीड़ा को उजागर करता है, बल्कि स्वास्थ्य सेवाओं में लापरवाही की गंभीर स्थिति को भी रेखांकित करता है। डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक, जो स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग भी संभालते हैं, ने इस मामले को अत्यधिक गंभीरता से लिया है। उन्होंने तुरंत केजीएमयू के कुलपति को जांच का आदेश दिया और दोषियों पर सख्त कार्रवाई करने की बात कही।
चार दिन में रिपोर्ट सौंपने के आदेश
डिप्टी सीएम ने यह स्पष्ट कर दिया है कि स्वास्थ्य सेवाओं में इस प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने केजीएमयू प्रशासन से चार दिन के भीतर पूरे मामले की जांच रिपोर्ट मांगी है। उन्होंने यह भी निर्देश दिया कि रिपोर्ट में यह स्पष्ट किया जाए कि वेंटिलेटर की अनुपलब्धता का कारण क्या था और कौन-कौन जिम्मेदार हैं।
कठोर कार्रवाई का संकेत
ब्रजेश पाठक ने कहा कि यह घटना दुर्भाग्यपूर्ण और अस्वीकार्य है। उन्होंने कहा कि लापरवाही के दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो। इसके साथ ही उन्होंने सरकारी अस्पतालों में आवश्यक चिकित्सा उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए भी आवश्यक कदम उठाने का आश्वासन दिया।
वायरल वीडियो ने खड़े किए सवाल
वायरल वीडियो में मरीज के परिजनों को लारी कार्डियोलॉजी के डॉक्टरों और कर्मचारियों से वेंटिलेटर की मांग करते हुए देखा जा सकता है। यह वीडियो न केवल चिकित्सा संस्थानों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़ा करता है, बल्कि मरीजों और उनके परिजनों के दर्द को भी सामने लाता है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया
केजीएमयू प्रशासन ने कहा है कि इस मामले की जांच शुरू कर दी गई है। कुलपति ने जांच टीम गठित कर दी है, जो घटनास्थल पर जाकर साक्ष्य एकत्र करेगी और सभी संबंधित व्यक्तियों के बयान दर्ज करेगी।
स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार की मांग
इस घटना ने प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर एक बार फिर बहस छेड़ दी है। विपक्षी दलों ने भी सरकार पर स्वास्थ्य सेवाओं की अनदेखी का आरोप लगाया है।
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