आजम खान नाराज, अटकलों का बाजार गरम इस अटकलों के बाद लगता है कि, उत्तर प्रदेश की राजनीति में एक बड़े बदलाव के आसार हैं। बताया जा रहा है कि, आजम खान की नाराजगी इस हद तक बढ़ गई है कि वह सपा को छोड़ सकते हैं। ऐसा उनके मीडिया प्रभारी फसाहत अली खां के बयानों से जाहिर हो रहा है। आजम खान समाजवादी पार्टी का एक बड़ा मुस्लिम चेहरा हैं। चुनाव 2022 में वह रामपुर से विधायक चुने गए। इस वक्त सीतापुर जेल में बंद हैं। आजम साल 1980 से ही रामपुर सीट से लगातर जीत रहे हैं। सिर्फ एक बार 1996 में कांग्रेस के हाथों हार का सामना करना पड़ा था।
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कई मुद्दों पर आजम की अनदेखी बताया जा रहा है कुछ मुद्दे हैं जिनको अखिलेश यादव ने अनदेखी की है। आजम खान के जेल में बंद होने पर अखिलेश सिर्फ एक बार ही जेल में जाकर मिले। और उनकी गिरफ्तारी का विरोध में उस ढंग से नहीं किया गया जैसी की अपेक्षा थी। चुनाव 2022 में आजम समर्थकों के लिए टिकट की मांग की गई पर सिर्फ अब्दुल्ला आजम को टिकट दे मामले को इतिश्री कर दिया। आजम खान को नेता प्रतिपक्ष बनाने की मांग हुई तो खुद सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव ने यह जिम्मेदारी खुद उठाना बेहतर समझा। यह भी पढ़ें
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शानू ने तमाम अहसान गिनाए रविवार को रामपुर में हुई पार्टी की बैठक आज़म खान के मीडिया प्रभारी फसाहत अली खान शानू ने कहाकि, ऐसा लगता है कि, मुख्यमंत्री योगी का बयान सही था कि अखिलेश नहीं चाहते कि आजम खान बाहर आएं।’ शानू ने आगे कहाकि, आजम खां ने अखिलेश यादव और उनके पिता का समाजवादी पार्टी बनने और मुख्यमंत्री बनने तक हर कदम पर साथ दिया। शानू ने और तमाम अहसान गिनाए। अब्दुल बर्बाद हो जाएगा आजम खान के मीडिया प्रभारी फसाहत अली खां कहाकि, हमारे राष्ट्रीय अध्यक्ष को हमारे कपड़ों से बदबू आती है। जेल में बंद आजम खां के जेल से बाहर न आने की वजह से हम लोग सियासी रूप से यतीम हो गए हैं। हम कहां जाएंगे, किससे कहेंगे और किसको अपना गम बताएं? हमारे साथ तो वो समाजवादी पार्टी भी नहीं है, जिसके लिए हमने अपने खून का एक-एक कतरा बहा दिया। मुसलमानों की तरफ इशारा करते हुए फसाहत ने कहा कि क्या सारा ठेका अब्दुल ने ले लिया है? वोट भी अब्दुल देगा और जेल भी अब्दुल जाएगा? अब्दुल बर्बाद हो जाएगा। घर की कुर्की हो जाएगी।
एक बार आजम खान का निष्कासन भी हुआ यह जानकर हैरान होंगे कि, समाजवादी पार्टी आजम खान को एक बार 6 साल के लिए निष्कासित कर चुकी है। मई 2009 में उन्हें पार्टी निकाला गया था, पर दिसंबर 2010 में उनका निष्कासन वापस ले लिया गया और वे दोबारा पार्टी का हिस्सा बन गए।
आजम खान सपा के साथ हैं – राजेंद्र चौधरी एक दिन पहले सपा सांसद शफीकुर रहमान बर्क ने भी आरोप लगाया था कि, सपा मुसलमानों के लिए काम नहीं कर रही है। सपा प्रदेश प्रवक्ता और राष्ट्रीय सचिव राजेंद्र चौधरी ने कहाकि, मुझे ऐसी किसी बैठक या टिप्पणी की जानकारी नहीं है। आजम खान सपा के साथ हैं और सपा उनके साथ है। आजम खान की पत्नी तंजीन फातिमा पूर्व विधायक और पूर्व राज्यसभा सदस्य हैं, जबकि उनके बेटे अब्दुल्ला आजम खान ने रामपुर में सुआर विधानसभा सीट जीती है।