लखनऊ

School News : स्कूल आए बिना लेती थी सैलेरी, अपनी जगह पढ़ाने के लिए 5000 रुपए किराए पर रखी थी दूसरी टीचर

UP Education Vibhag Amazing कमाल हो गया। एक ऐसा स्कूल पकड़ा गया, जिसमें प्रधानाध्यापिका स्कूल नहीं आती थी पर सैलेरी उसके बैंक खाते में चली जाती थी। और कोई भी इस कमाल को पकड़ा नहीं पाया। जानते हैं क्यों। क्योंकि उसने एक ऐसी राम बाण चाल चली थी की किसी को भी शक नहीं होता था। जानें क्या है वो राज…

लखनऊMay 08, 2022 / 03:16 pm

Sanjay Kumar Srivastava

स्कूल आए बिना लेती थी सैलेरी, अपनी जगह पढ़ाने के लिए 5000 रुपए किराए पर रखी थी दूसरी टीचर

यूपी का शिक्षा विभाग कमाल है। एक ऐसा मामला पकड़ में आया है कि, हैरान रह जाएंगे। एक प्रधानाध्यापिका बिना स्कूल आए वेतन ले रही थीं। और अपनी जगह एक लड़की को विद्यालय में बच्चों को पढ़ाने के लिए रख रखा था। जिसे वह पांच हजार रुपए देती थी। ताज्जुब है कि यह सारा खेल अक्तूबर, 2021 से चल रहा है। इस फर्जीवाड़े के संज्ञान में आने पर एडी बेसिक महेश चंद्र ने प्रभारी बीएसए को संबंधित दोषियों पर तत्काल कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही जांच और दोषी मिलने पर कड़ी कार्रवाई के आदेश जारी किए।
मामला यह है

मंडलीय सहायक शिक्षा निदेशक (एडी) बेसिक ने बताया कि, मंडलीय उप निरीक्षक उर्दू राकेश कुमार व मंडलीय समन्वयक मिड-डे मील राकेश कुमार पाराशर ने छह मई को प्राथमिक विद्यालय नगला सुरई जैतपुर कलां का निरीक्षण किया। तो पता चला कि, प्रधानाध्यापिका सुमन सिंह अनुपस्थित थीं। उपस्थिति पंजिका देखी गई तो जानकारी में आया कि, 29 अप्रैल से बिना सूचना के विद्यालय से अनुपस्थित हैं। उपस्थिति पंजिका में 28 अप्रैल को आकस्मिक अवकाश अंकित मिला। पत्र व्यवहार पंजिका में आकस्मिक अवकाश दर्ज नहीं था। मिड-डे मील और छात्रों की उपस्थिति पंजिका मंगा गया तो शिक्षक-शिक्षामित्रों ने बताया कि, सभी जरूरी कागजात प्रधानाध्यापिका के पास ही हैं।
यह भी पढ़ें

School Holidays in May 2022 : मई में इतने दिन बंद रहेंगे स्कूल, जानें कब से होगी गर्मियों की छुट्टियां

किराए की टीचर ने दिए जवाब

जब पूछताछ की गई तो सहायक अध्यापक मनीष कुमार, शिक्षामित्र अंजू, ऊषा ने जांच टीम को बताया कि, प्रधानाध्यापिका पूनम सिंह की जगह एक लड़की पढ़ाती है। लड़की मौके पर मौजूद थी। लड़की बताया कि, वह अक्तूबर, 2021 से विद्यालय में पढ़ा रही है। इसके एवज में पांच हजार रुपए प्रति माह मिलते हैं। ग्रामीणों ने बताया कि, कभी प्रधानाध्यापिका को नहीं देखा है।
यह भी पढ़ें

School Summer Vacation : गर्मियों की छुट्टियों में स्कूलों इतने दिन रहेंगे बंद जानें

बीईओ की भूमिका संदिग्ध – एडी बेसिक

एडी बेसिक ने सफाई देते हुए कहाकि, बीईओ की भूमिका संदिग्ध है, स्पष्टीकरण मांगा जाएगा। निदेशक को रिपोर्ट देकर कार्रवाई की संस्तुति करेंगे।

Hindi News / Lucknow / School News : स्कूल आए बिना लेती थी सैलेरी, अपनी जगह पढ़ाने के लिए 5000 रुपए किराए पर रखी थी दूसरी टीचर

Copyright © 2024 Patrika Group. All Rights Reserved.