ये भी पढ़ें- अयोध्या फैसले के चलते यूपी सरकार के आदेश के बावजूद खुले यूपी में इतने स्कूल, होगी कार्रवाई सुरक्षा बढ़ाने की वजह कमलेश तिवारी हत्याकांड भी-
सुरक्षा बढ़ाने के कारण में कमलेश तिवारी हत्याकांड के बाद खुले कई राज को भी बताया जा रहा है। जांच एजेंसियों के मुताबिक हत्यारों ने कमलेश को उनके भड़काऊ बयानों के कारण मारा था। जिसके बाद कई नेताओं को जान से मारने की धमकी भी दी गई है। वहीं सूत्रों का कहना है कि अयोध्या मामले में मुस्लिम पक्षकार इकबाल अंसारी और राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष राम विलास वेदांती की बढ़ी सुरक्षा को भी बरकरार रखा गया है। इनके अतिरिक्त पूर्व मंत्री रामवीर उपाध्याय और भाजपा के नेता नरेश अग्रवाल को वाई प्लस श्रेणी की सुरक्षा दी गई है। नरेश अग्रवाल के पास अभी तक केंद्र की वाई प्लस और राज्य की वाई श्रेणी की सुरक्षा थी। उन्हें अब राज्य की भी वाई प्लस श्रेणी की सुरक्षा दे दी गई है।
सुरक्षा बढ़ाने के कारण में कमलेश तिवारी हत्याकांड के बाद खुले कई राज को भी बताया जा रहा है। जांच एजेंसियों के मुताबिक हत्यारों ने कमलेश को उनके भड़काऊ बयानों के कारण मारा था। जिसके बाद कई नेताओं को जान से मारने की धमकी भी दी गई है। वहीं सूत्रों का कहना है कि अयोध्या मामले में मुस्लिम पक्षकार इकबाल अंसारी और राम जन्मभूमि न्यास के अध्यक्ष राम विलास वेदांती की बढ़ी सुरक्षा को भी बरकरार रखा गया है। इनके अतिरिक्त पूर्व मंत्री रामवीर उपाध्याय और भाजपा के नेता नरेश अग्रवाल को वाई प्लस श्रेणी की सुरक्षा दी गई है। नरेश अग्रवाल के पास अभी तक केंद्र की वाई प्लस और राज्य की वाई श्रेणी की सुरक्षा थी। उन्हें अब राज्य की भी वाई प्लस श्रेणी की सुरक्षा दे दी गई है।
ये भी पढ़ें- मस्जिद के लिए हिंदू बोले- हम देंगे जमीन, बताई यह जगहें, सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद की पेशकश बसपा से निष्कासित विधायक की भी सुरक्षा बढी़- सूत्रों के अनुसार सुप्रीम कोर्ट से अयोध्या विवाद पर मध्यस्थता के लिए नियुक्त कमेटी के तीन सदस्यों श्री श्री रविशंकर, कलीफुल्लाह और श्रीराम पंचू को दी गई सुरक्षा अब हटा ली गई है। सूत्रों की मानें तो शासन स्तर पर जिन लोगों की सुरक्षा बढ़ाई गई है, उनमें 10 ऐसे लोग हैं जिनकी सुरक्षा न्यायालय ने बढ़ाने के निर्देश दिए थे। इनमें बसपा से निष्कासित विधायक रामवीर उपाध्याय भी हैं।