वर्ष 2019 में गूगल के प्रोडक्ट मैनेजर (सर्च) डेविड मोनसी ने भी एक ब्लॉग में भी इस बात को स्वीकार किया था कि गूगल स्पीच सर्विस को बेहतर बनाने के लिए उनके भाषा एक्सपर्ट रिकॉर्डिंग को सुनते हैं। वहीं मीटिंग में एक बीजेपी सांसद के सवाल पर गूगल टीम ने बताया कि कभी-कभी जब यूजर्स वर्चुअल असिस्टेंट का इस्तेमाल नहीं भी करते, तब भी उनकी बातचीत को रिकॉर्ड किया जाता है।
इससे पहले गोपनीयता को लेकर अमरीकी सांसदों ने गूगल से सवाल किया था और कुछ जगहों पर इसे लेकर मुकदमे भी हो चुका हैं। वहीं संसदीय समिति ने मीटिंग मेंं फेसबुक और गूगल के प्रतिनिधियों से स्पष्ट कहा है कि उनकी मौजूदा डेटा सुरक्षा एव निजता संबंधी नीति में खामियां हैं। ऐसे में उन्हें यूजर्स की डेटा की निजता और सुरक्षा के लिए कड़े मानक तय करने होंगे।
अगर आप स्मार्ट स्पीकर यूज करते हैं तो इससे भी आपकी निजी जानकारियां लीक हो सकती है। एक शोध में पता चला था कि स्मार्ट स्पीकर्स से भी हैकर्स यूजर्स के पासवर्ड और पिन नंबर हैक कर सकते हैं। बहुत सारे यूजर्स गूगल या एलेक्सा के स्मार्ट स्पीकर्स यूज करते हैं। ब्रिटेन यूनिवर्सिटी ऑफ कैंब्रिज के शोधकर्ताओं के इस पर शोध किया था। इस शोध में पता चला था कि स्पीकर, स्मार्टफोन पर दब रहे की-पैड की आवाज को रिकॉर्ड कर लेता है। स्मार्ट स्पीकर से हैकिंग का पता लगाने के लिए शोधकर्ताओं ने एक स्मार्ट स्पीकर तैयार किया। इसमें गैजेट्स स्मार्टफोन के की-बोर्ड के दबाने की आवाज को रिकॉर्ड किया गया।