समिति अध्यक्ष कनीज फातिमा ने बताया कि बचपन बचाओ आंदोलन की टीम को जीआरपी से सूचना मिली कि एक 17 वर्षीय नाबालिग निराश्रित मिली है। बालिका ने काउंसलिंग में बताया कि पिता मजदूरी करते हैं। नवम्बर में स्कूल की छुट्टियों में वह घूमने के लिए जबलपुर से ट्रेन में बैठकर कटनी चली गई। वहां कुछ लोगों ने उसे नशीला पदार्थ पिलाकर बेहोश कर दिया। जब होश आया तो वह उज्जैन के किसी होटल में पाया जहां दो युवक व एक महिला भी मौजूद थी। उन्होंने धमकाया और आगर ले जाकर जबरन 27 वर्षीय युवक से शादी करवा दी। युवक ने एक दिन नशे की हालत में बताया कि तुझे 2 लाख रुपए में खरीदा है। उसके साथ 4 माह तक रही। लेकिन कीटनाशक के सेवन से उस युवक की मौत हो गई।
कैसे मिलेगा फ्री बिजली का लाभ, किसानों के रजिस्ट्रेशन में ये बड़ी परेशानी आई सामने
नाबालिग ने बताया कि युवक की मौत के बाद गत अप्रेल में ससुराल वालों ने सुकेत थाना क्षेत्र में सातलखेड़ी में एक युवक से जबरन उसकी शादी करवा दी। यहां पता चला कि ससुराल वालों ने 3 लाख रुपए लेकर शादी करवाई है। नाबालिग ने पहले आत्महत्या करने की कोशिश की, लेकिन फिर घर से भागकर स्टेशन पहुंची और ट्रेन में बैठकर कोटा पहुंच गई। समिति ने परिजनों को सूचना दी है। परिजनों के आने तक बालिका गृह में अस्थाई आश्रय दिलवाया है।