यह भी पढ़ें
कोटा के पर्यटन को लगेंगे पंख, हैलीकॉप्टर से निहार सकेंगे Hanging bridge और Seven Wonders अपनों को वीआईपी तरजीह पहले नए अस्पताल व अब एमबीएस में निश्चेतना विभाग में कार्यरत रेजीडेंट खुशबू के पिता प्रेमचंद मेघवाल को डेंगू हुआ। मेल मेडिकल वार्ड में भीड़-भाड़ की जगह से बचने और अच्छा ट्रीटमेंट देने के लिए उन्हें ट्रोमा वार्ड में बेड नम्बर चार पर भर्ती कर लिया गया। जबकि बेहतर सुविधाओं वाले इस वार्ड में सर्जिकल व ऑर्थोपेडिक के मरीजों को ही भर्ती कराया जाता है। ज्यादातर एक्सीडेंट केस आते हैं। महावीर नगर तृतीय निवासी प्रेमचंद ने बताया कि एक वह सप्ताह से भर्ती है। उनकी प्लेट्लेटस १७ हजार ही रह गई हैं। उनकी बेटी एमबीएस अस्पताल में निश्चेतना विभाग में फस्ट ईयर स्टूडेंट्स है।
यह भी पढ़ें
हाड़ौती की कला एवं संस्कृति का कोटा के तीन कलाकारों ने देश भर में किया प्रदर्शन वरिष्ठजन वार्ड में जवान भर्ती
नए अस्पताल में वरिष्ठजनों के लिए अलग से वार्ड बनाया गया था, लेकिन यहां भी अस्पताल प्रबंधन ने बुजुर्ग की जगह जवान लोगों को भर्ती करना शुरू कर दिया है। यही नहीं, बुजुर्गों को भर्ती करने से मना किया जा रहा है। बुधवार को भी एक बुजुर्ग को भर्ती करने से मना कर दिया।
यह भी पढ़ें
बारां में अफसरों को विवाद पड़ा भारी, बूंदी में लापरवाह कर्मचारियों पर गाज जिम्मेदार बोले
अस्पताल की व्यवस्था को दुरुस्त किया जाएगा। मेडिसिन वार्ड फुल होने के कारण अब स्किल विभाग में खाली बेड पर डेंगू मरीजों को भर्ती करने का निर्णय किया है। ट्रोमा व वरिष्ठजन वार्ड में भर्ती मरीजों को दूसरी जगह शिफ्ट किया जाएगा।
डॉ. देवेन्द्र विजयवर्गीय, अधीक्षक, नया अस्पताल
तस्वीर एक
एक बेड पर तीन-तीन बच्चे भर्ती
तस्वीर दो
रेजीडेंट के पिता को ट्रोमा सुविधाएं आम हालात 26 बेड, 60 मरीज, 1 नर्सिंगकर्मी
एक बेड पर तीन-तीन बच्चे भर्ती
तस्वीर दो
रेजीडेंट के पिता को ट्रोमा सुविधाएं आम हालात 26 बेड, 60 मरीज, 1 नर्सिंगकर्मी
होने चाहिए
6 बेड पर 1 यानी 4 नर्सिंगकर्मी
6 बेड पर 1 यानी 4 नर्सिंगकर्मी